सार

गोवा में 53वें इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल ऑफ इंडिया (IFFI) का समापन हुआ। इस मौके पर इजराइल के फिल्ममेकर और स्क्रीनराइटर नदाव लैपिड ने कुछ ऐसा कह दिया, जिसकी भारत ही नहीं बल्कि उनके देश इजराइल में भी जमकर आलोचना हो रही है। कौन हैं नदाव लैपिड, जिनके बयान से मचा बवाल?

Who is Nadav Lapid: गोवा में 53वें इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल ऑफ इंडिया (IFFI) का समापन हुआ। इस मौके पर इजराइल के फिल्ममेकर और स्क्रीनराइटर नदाव लैपिड ने कुछ ऐसा कह दिया, जिसकी भारत ही नहीं बल्कि उनके देश इजराइल में भी जमकर आलोचना हो रही है। 47 साल के नदाव लैपिड ने फिल्म 'द कश्मीर फाइल्स' को लेकर कहा कि ये एक वल्गर प्रोपेगेंडा फिल्म है, जिसे देखकर हम सभी हैरान थे। ऐसी अश्लील और प्रोपेगेंडा बेस्ड फिल्मों को फिल्म समारोह में जगह नहीं मिलनी चाहिए। लैपिड के इस बयान के बाद उनकी चौतरफा आलोचना हो रही है। आखिर कौन हैं नदाव लैपिड? आइए जानते हैं। 

कौन हैं नदाव लैपिड?
इजरायली स्क्रीनराइटर और फिल्ममेकर नदाव लैपिड का जन्म इजराइल के तेल अवीव में 8 अप्रैल, 1975 को हुआ था। उनके पिता हेम लैपिड लेखक, जबकि मां ईरा लैपिड फिल्म एडिटर हैं। नदाव लैपिड ने अपने करियर में कई डॉक्यूमेंट्री बनाई हैं। नदाव ने 2011 में 'पुलिसमेन', 2014 में 'द किंडरगार्टन टीचर' और 2019 में 'सिनोनिम्स' जैसी फिल्मों का डायरेक्शन भी किया है। इसके अलावा वो 2016 में कान्स फिल्म फेस्टिवल में इंटरनेशनल क्रिटीक्स वीक जूरी और 2021 में बर्लिन इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल में ऑफिशियल कॉम्पिटिशन जूरी के मेंबर भी रहे हैं। 

लैपिड के बयान पर इजराइली राजदूत ने लताड़ा : 
नदाव लैपिड के इस बयान पर इजराइल के राजदूत नाओर गिलोन ने उन्हें जमकर लताड़ लगाई है। गिलोन ने लैपिड के बयान पर खेद जताते हुए कहा कि मुझे उनके इस बयान पर शर्म आती है। नदाव ने जो कुछ भी कहा है ये उनके निजी विचार हैं। इजरायल एम्बेंसी ने नदाव के इस बयान की आलोचना करते हुए कहा कि भारतीय संस्कृति में अतिथि भगवान के बराबर होता है। लेकिन आपने जूरी बनने के भारतीय निमंत्रण का सबसे खराब तरीके से दुरुपयोग किया है।

अनुपम खेर बोले- झूठ कभी सच से बड़ा नहीं हो सकता 
अनुपम खेर ने ट्वीट करते हुए लिखा- झूठ का कद कितना भी ऊंचा क्यों न हो, सत्य के मुकाबले में हमेशा छोटा ही होता है। वहीं, मुंबई में उन्होंने  मीडिया से बातचीत में कहा-अगर प्रलय सही है, तो कश्मीरी पंडितों का पलायन भी सही है। ये पूर्व नियोजित लगता है, क्योंकि इसके बाद टूलकिट गैंग सक्रिय हो गए हैं। 

कश्मीरी हिंदुओं पर बर्बरता की कहानी है 'द कश्मीर फाइल्स'
इसी साल 11 मार्च, 2022 को रिलीज हुई फिल्म 'द कश्मीर फाइल्स' 1990 में कश्मीर घाटी में हिंदुओं के साथ हुई बर्बरता पर बेस्ड मूवी है। फिल्म में आतंकवादियों की क्रूरता के बाद हुए कश्मीरी हिंदुओं के पलायन और नरसंहार को दिखाया गया है। इसमें लीड रोल अनुपम खेर, मिथुन चक्रवर्ती, दर्शन सिंह, पल्लवी जोशी ने निभाया है। फिल्म ने दुनियाभर में 360 करोड़ रुपए से ज्यादा की कमाई की थी। 

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