सार
कॉर्पोरेशन के अधिकारियों के साथ सी. शिखा यहां निरीक्षण के लिए पहुंची थीं। वे टेस्ट ट्रैक पर खुद वॉल्वो बस चलाने लगीं। ये देख सभी कर्मचारी थोड़े सकपका गए।
बेंगलुरु. निरीक्षण के लिए पहुंची एक महिला आईएएस खुद ही वॉल्वो बस चलाकर सबको हैरत में डाल दिया। नजारा देख कर्मचारियों के भी हाथ-पैर फूल गए। आईएएस अफसर सी शिखा ने मंगलवार को वॉल्वो बस की ड्राइविंग की और लोग तालियां बजाकर उनका उत्साह बढ़ाते नजर आए। बहरहाल ऐसा पहली बार ऐसा हुआ है कि किसी महिला आईएएस अफसर ने निरीक्षण के लिए खुद बस की ड्राइविंग की है।
बेंगलुरु मेट्रोपॉलिटन ट्रांसपॉर्ट कॉर्पोरेशन (बीएमटीसी) की एमडी और महिला आईएएस अफसर सी शिखा ने मंगलवार को वॉल्वो बस दौड़ाई। ड्राइविंग सीट पर शिखा शांत और जज्बे से भरपूर दिखीं। उनकी ड्राइविंग ने सभी कर्मचारियों को बेहद प्रभावित किया। उनका उत्साह बढ़ाने के लिए सब तालियां बजाने लगे।
मंझे हुए ड्राइवर की तरह दौड़ाई बस
कॉर्पोरेशन के अधिकारियों के साथ सी. शिखा यहां निरीक्षण के लिए पहुंची थीं। वे टेस्ट ट्रैक पर खुद वॉल्वो बस चलाने लगीं। ये देख सभी कर्मचारी थोड़े सकपका गए लेकिन उन्होंने देखा कि महिला अफसर एक मंझे हुए ड्राइवर की तरह बस चला रही हैं। तो सभी ने तालियां बजाकर उनका उत्साह बढ़ाया।
महिला ड्राइवर्स का बढ़ाया उत्साह
इतना ही नहीं आईएएस के इस कदम ने कई लोगों को प्रेरित भी किया। इसमें खासकर कॉर्पोरेशन से जुड़ी अकेली महिला ड्राइवर प्रेमा रमप्पा भी शामिल रहीं। प्रेमा ने बाद में कहा भी कि वह मैडम से बेहद प्रेरित हुई हैं। बता दें कि बेंगलुरु में करीब 36 लाख यात्री रोज बस की सेवा लेते हैं। इसके लिए करीब 6400 बसें हैं जबकि 14 हजार ड्राइवर हैं। 2004 बैच की आईएएस शिखा को सितंबर 2019 में यहां एमडी का प्रभार सौंपा गया है।
सुनीं ड्राइवर्स की समस्याएं
लगातार कई दुर्घटनाओं के बाद खुद शिखा ने निरीक्षण करने का निर्णय लिया और कर्मचारियों के सामने ही बस चलाकर उन्हें प्रेरित भी किया। उन्होंने ड्राइवर्स से उनकी दिक्कतों के बारे में जाना। साथ ही उन्होंने उनकी दिक्कतों को दूर करने का आश्वासन भी दिया।