सार
शहर में दो अप्रैल की रात हुई हिंसा के बाद हालात बिगड़ गए। दो गुटों ने एक दूसरे के ऊपर जमकर पत्थरबाजी करते हुए तोड़फोड़ की। तीन मई सुबह से शहर के 10 से ज्यादा थाना क्षेत्रों में कर्फ्यू लगा दिया गया है। कर्फ्यू वाले क्षेत्रों में इंटरनेट सेवा भी बंद है। आज थोड़ी सी ढील दी गई है।
जोधपुर : राजस्थान (Rajasthan) के जोधपुर (Jodhpur) में 10 थाना क्षेत्रों में चल रहे कर्फ्यू में शुक्रवार सुबह आठ से दस बजे तक ढील दी गई है। कड़ी सुरक्षा के बीच लोग घरों से बाहर निकलकर बाजार में खरीदारी कर रहे हैं। इस दौरान किराना, सब्जी और दूध की दुकानें ही खुलेंगी। इसके साथ ही पहले से पानी, बिजली और दवाइयों सुविधा की छूट जारी है। इसके अतिरिक्त कोई दुकान नहीं खुली है। बाजार में तीन दिन बाद थोड़ी सी चहल-पहल दिखाई दी है। पुलिस ने चप्पे-चप्पे पर कड़ा पहरा बिछा रखा है। पूरा शहर जवानों की निगरानी में है।
200 से ज्यादा गिरफ्तारी
पुलिस कमिश्नर नवज्योति गोगई ने बताया कि कर्फ्यू में ढील के दौरान समय का ध्यान रखना है। समय पूरा होने के बाद अपने घरों में जाना होगा। उन्होंने बताया कि अब तक 23 मामले इस घटना को लेकर दर्ज हो चुके हैं। इनमें चार पुलिस ने अपनी तरफ से दर्ज करवाए गए हैं। जबकि 19 अन्य लोगों के दर्ज करवाए हैं। अभी भी कोई भी आकर अपनी FIR दे सकता है। कमिश्नर ने बताया कि धारा 151 में अब तक 201 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। इनमें बहुत बडी संख्या में जमानत भी हुई है। जबकि 20 लोगों केा पुलिस की रिपोर्ट पर नामजद गिरफ्तारी हुई है। गुरुवार को 10 दिन का रिमांड लिया गया है। पूछताछ की जा रही है। हम उसी स्थिति में किसी को गिरफ्तार करेंगे जब उसके विरुद्ध हमारे पास पूरे सबूत होंगे।
कलेक्टर की अपील
जिला कलेक्टर हिमांशु गुप्ता ने देर शाम सर्किट हाउस में नियमित प्रेस कॉन्फ्रेंस कर इसकी जानकारी देते हुए बताया कि गुरुवार को सीएलजी बैठकों का आयोजन किया गया। शहर में लोग आपसी शांति व सद्भाव को लेकर सजग हैं। उन्होंने बताया पुलिस का फ्लैग मार्च निकाल कर जनता में विश्वास बनाए रखने का संदेश दिया गया। उन्होंने बताया कि जितना नियमों का पालना होगा, हालात भी उतने ही जल्दी सामान्य होंगे। कलेक्टर ने बताया कि नुकसान का सर्वे किया जा रहा है। अगर कोई व्यक्ति बाकी रह गया है। तो फोन नंबर या इमेल के जरिए हमें सीधे इसकी जानकारी भी दे सकता है।
मीडिया के निशाने पर क्या बोले कलेक्टर
गुरुवार को जिला प्रशासन ने अपने प्रेस नोट में लिखा कि शहर की जनता बाहरी मीडिया द्वारा जोधपुर की घटना को बढ़ा-चढाकर दिखाने को आक्रोशित है। प्रेस कॉन्फ्रेंस में पत्रकारों ने मीडिया कर्मियों ने कलेक्टर से पूछा क्या इसको लेकर कोई शिकायत प्राप्त हुई है? अगर नहीं तो फिर मीडिया को निशाने पर क्यों लिया जा रहा है? इस पर कलेक्टर ने इससे अनभिज्ञता जाहिर करते हुए कहा कि वे इसकी जांच करवाएंगे। हमें मीडिया पर पूरा विश्वास है।
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