सार

Hanuman Jayanti 2025: इस बार हनुमान जन्मोत्सव का पर्व 12 अप्रैल, शनिवार को मनाया जा रहा है। मान्यता के अनुसार, चैत्र पूर्णिमा तिथि पर ही हनुमानजी का जन्म हुआ था। इस दिन हनुमानजी की पूजा का विशेष महत्व है।

 

Hanuman Jayanti 2025: हर साल चैत्र पूर्णिमा पर हनुमान जन्मोत्सव मनाया जाता है। इस बार ये पर्व 12 अप्रैल, शनिवार को है। गीताप्रेस गोरखपुर द्वारा प्रकाशित हनुमान अंक में हनुमानजी से जुड़े अनेक उपाय बताए गए हैं। इस ग्रंथ में हनुमानजी के 12 नामों वाली एक स्तुति है। मान्यता है कि इस स्तुति को रोज सुबह बोलने से सभी तरह के भय का नाश होता है और हर काम में सफलता मिलती है। आगे जानिए हनुमानजी की 12 नामों वाली स्तुति और कैसे करें इसका पाठ…

स्तुति
हनुमानअंजनीसूनुर्वायुपुत्रो महाबल:।
रामेष्ट: फाल्गुनसख: पिंगाक्षोअमितविक्रम:।।
उदधिक्रमणश्चेव सीताशोकविनाशन:।
लक्ष्मणप्राणदाता च दशग्रीवस्य दर्पहा।।
एवं द्वादश नामानि कपीन्द्रस्य महात्मन:।
स्वापकाले प्रबोधे च यात्राकाले च य: पठेत्।।
तस्य सर्वभयं नास्ति रणे च विजयी भवेत्।
राजद्वारे गह्वरे च भयं नास्ति कदाचन।।

कैसे करें पाठ?
रोज सुबह उठकर स्नान आदि करने के बाद हनुमानजी की पूजा करें। पूजा न कर पाएं तो मन ही मन उनका स्मरण करते हुए 12 नामों वाली ये स्तुति बोलें। इसके बाद आप जो भी काम करेंगे, उसमें आपको सफलता जरूर मिलेगी।

ये हैं इस स्तुति में बताए गए हनुमानजी के 12 नाम
1. हनुमान- हनु का अर्थ है अहंकार से रहित।
2. पिंगाक्ष- पीली आंखों वाला
3. फाल्गुनसुख- फाल्गुन अर्जुन का एक नाम है, उसकी सहायता करने के कारण हनुमानजी का ये नाम पड़ा।
4. रामेष्ट- भगवान श्रीराम का प्रिय होने से हनुमानजी रामेष्ट कहते हैं।
5. लक्ष्मणप्राणदाता- लक्ष्मण के प्राण बचाने वाला।
6. उदधिक्रमण- समुद्र का अतिक्रमण करने वाला यानी पार करने वाला।
7. अमितविक्रम- जिसके पराक्रम की कोई सीमा न हो।
8. दशग्रीवदर्पहा- रावण का घमंड तोड़ने के कारण हनुमानजी का एक नाम ये भी है।
9. अंजनीसुनू- माता अंजनी के पुत्र
10. वायुपुत्र- वायु के पुत्र
11. महाबल- महान बलशाली, जिनके बल की कोई सीमा नहीं
12. सीताशोकविनाशन- माता सीता का दुख दूर करने वाले।


Disclaimer
इस आर्टिकल में जो जानकारी है, वो ज्योतिषियों द्वारा बताई गईं हैं। हम सिर्फ इस जानकारी को आप तक पहुंचाने का एक माध्यम हैं। यूजर्स इन जानकारियों को सिर्फ सूचना ही मानें।