सार

अदालत ने इंटरनेट सेवाएं बंद करने का ठोस कारण सरकार से हलफनामा पर देने को कहा है। अदालत इस मामले में तीन जनवरी को फिर से सुनवाई करेगी।

प्रयागराज (उत्तर प्रदेश) । नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ हो रहे हिंसक प्रदर्शन को देखते हुए प्रदेश के कई जिलों में इंटरनेट सेवाएं बंद कर दी गई हैं। जिसपर इलाहाबाद हाईकोर्ट ने नाराजगी जताई है। कोर्ट ने राज्य सरकार को नोटिस जारी कर 10 दिन में जवाब मांगा है।

इस तरह कोर्ट तक पहुंचा मामला
इलाहाबाद हाईकोर्ट बार एसोसिएशन के अध्यक्ष राकेश पांडेय समेत कई वकीलों ने चीफ जस्टिस कोर्ट में उपस्थित होकर इंटरनेट सेवाएं बंद होने की जानकारी दी। लोगों को हो रही परेशानियों से अवगत कराया। 

3 जनवरी को होगी सुनवाई
एडिशनल एडवोकेट जनरल एके गोयल ने कोर्ट में पेश होकर बताया कि कानून व्यवस्था के लिए खतरा पैदा होने की वजह से यह कदम उठाना पड़ा। फिलहाल पाबंदी सिर्फ शनिवार तक के लिए ही है। अदालत ने इंटरनेट सेवाएं बंद करने का ठोस कारण सरकार से हलफनामा पर देने को कहा है। अदालत इस मामले में तीन जनवरी को फिर से सुनवाई करेगी।

(प्रतीकात्मक फोटो)