चेन्नई में जन्मे गूगल के CEO सुंदर पिचाई के पिता ने बेटे के फ्लाइट टिकट पर अपने एक साल के वेतन के बराबर पैसे खर्च कर दिये थे, ताकि वह स्टैनफोर्ड में पढ़ाई कर सकें।
आज सुंदर पिचाई की कुल संपत्ति अनुमानित 8342 करोड़ रुपये तक पहुंच गई है, जिससे वह अरबपति का दर्जा हासिल करने वाले गैर-संस्थापक टेक सीईओ के छोटे ग्रुप में शामिल हो गए हैं।
पिचाई ने IIT खड़गपुर से मेटलर्जी इंजीनियरिंग की डिग्री ली। स्टैनफोर्ड विवि से MS कंटेंट साइंस और इंजीनियरिंग की पढ़ाई फिर पेंसिल्वेनिया विश्वविद्यालय के व्हार्टन स्कूल से MBA किया।
सुंदर पिचाई 10 जून को 52 साल के हो गए हैं। उनका जन्म 1972 में एक इलेक्ट्रिकल इंजीनियर रेगुनाथ पिचाई और एक स्टेनोग्राफर लक्ष्मी के घर हुआ था।
पिचाई चेन्नई में दो कमरे के फ्लैट में बड़े हुए। वह और उनका छोटा भाई लिविंग रूम के फर्श पर सोते थे। परिवार के पास टीवी, कार नहीं थी,कई बार तो उनके पास सप्लाई वाटर भी नहीं रहता।
जब पिचाई 12 वर्ष के थे तब उनके पिता को मिले एक रोटरी टेलीफोन ने उन्हें टेक्नोलॉजी से परिचित कराया। आज वे अल्फाबेट इंक और गूगल एलएलसी के सीईओ के रूप में एक प्रमुख व्यक्ति बन गए हैं।
Google के साथ जर्नी 2004 में शुरू हुई जब उन्होंने अप्रैल फूल्स डे पर Googleplex में इंटरव्यू दिया, जो जीमेल की शुरुआत के साथ मेल खाता था, जिसे उन्होंने शुरू में एक मजाक समझा था।
पिचाई की रणनीतिक दृष्टि और नेतृत्व गुणों के कारण उन्हें 2015 में Google के सीईओ के रूप में नियुक्त किया गया। सीईओ के रूप में पिचाई का कार्यकाल उल्लेखनीय विकास और इनोवेशन से भरा है।
अब पिचाई को गूगल में काम करते हुए 20 साल से ज्यादा हो गए हैं। उन्होंने कई उपलब्धियां हासिल की हैं, जिसमें Google टूलबार पर उनका काम और Google Chrome का विकास भी शामिल है।