शाहरुख़ खान अपने पैरेंट्स को अपनी दुनिया मानते थे। लेकिन तब वे महज 26 साल के थे, जब वे अनाथ हो गए थे। 10 साल के अंतराल से उन्होंने पहले पिता और फिर मां को खो दिया था।
शाहरुख़ ने 15 साल की उम्र में अपने पिता मीर ताज मोहम्मद को खोया था। शाहरुख़ के मुताबिक़, उनके पिता कैंसर के मरीज थे और उनके साथ उनकी आखिरी याद उन्हें वनीला आइसक्रीम खिलाना है।
शाहरुख़ के मुताबिक़, रात में उनके पिता ने वनीला आइसक्रीम मांगी। उन्होंने उन्हें वह खिलाई और सोने चले गए। रात में तबियत बिगड़ी तो उन्हें अस्पताल ले जाया गया, जहां उनका इंतकाल हो गया।
शाहरुख़ ने 'द अनुपम खेर शो : कुछ भी हो सकता है' में बताया था कि उन्होंने आखिरी वक्त में सिर्फ पिता के पैर देखे थे, उनका चेहरा नहीं देखा था। क्योंकि वे बेहद दुख में थे।
शाहरुख़ ने एक बातचीत में बताया था कि जब उनकी मां आईसीयू में भर्ती थीं, तब वे वहां की पार्किंग में दुआ मांग रहे थे। इसलिए वे उनसे मिलने नहीं जाना चाहते थे।
शाहरुख़ के मुताबिक़, जब उनकी मां की अंतिम घड़ी आई तो डॉक्टर ने उन्हें ICU में बुलाया। पहले तो वे जाना नहीं चाहते थे, लेकिन जब लोगों ने समझाया तो वे मां से मिलने चले गए थे।
शाहरुख़ खान के मुताबिक़, वे ICU मां से ऐसी बातें कर रहे थे, जिनसे उन्हें तकलीफ हो। दरअसल, ऐसा वे इसलिए कर रहे थे, ताकि मां खुद को दुनिया से असंतुष्ट पाए और उन्हें छोड़कर ना जाए।
शाहरुख़ के पिता की मौत के बाद उनकी बहन लालारुख डिप्रेशन में चली गईं और आए दिन बीमार रहने लगी थीं। इलाज के बाद उनकी सेहत सुधरी, लेकिन वे पूरी तरह ठीक नहीं हो पाईं।