अयोध्या राम मंदिर को बनाने में खास पत्थर व लकड़ी का इस्तेमाल किया गया है। मंदिर में उपयोग के लिए घी, दीप स्तंभ में अलग-अलग जगहों से आए हैं। आगे जानिए राम मंदिर के फैक्ट…
राम मंदिर निर्माण में उपयोग किया गया गुलाबी पत्थर पिंक सैंडस्टोन है, जो राजस्थान के भरतपुर जिले से खासतौर पर मंगवाया गया है। इसी पत्थर से राम मंदिर की शोभा बढ़ रही है।
अयोध्या राम मंदिर में जो दरवाजे लगाए गए हैं, उनके लिए लकड़ी महाराष्ट्र के जंगलों से खासतौर पर मंगवाई गई है। ये लकड़ी लंबे समय तक उपयोग में बनी रहती है और खराब नहीं होती।
मंदिर निर्माण में लगा ग्रेनाइट पत्थर तेलंगाना और कर्नाटक से विशेष तौर पर मंगवाया गया है। ये पत्थर भी काफी खास है, इस पर की गई नक्काशी काफी सुंदर दिखाई देती है।
रामलला के दरबार में लगने वाला अष्टधातु का घंटा उत्तर प्रदेश के एटा जिले से बनकर आया है। इस घंटे का वजन लगभग 2100 किलो है। यह 6 फुट ऊंचा और 5 फुट चौड़ा है।
अयोध्या राम मंदिर में बिहार के महावीर मंदिर की ओर से अखंड ज्योति जलाई जाएगी। इस अखंड ज्योति को जलाने के लिए देसी गाय का घी खास तौर पर कर्नाटक से मंगवाया जाएगा।
राम मंदिर में अखंड ज्योति जलाने के लिए चेन्नई से 2 खास स्टैंड बनवाएं गए हैं। इन्हीं स्टैंड्स पर अखंड ज्योति जलाई जाएगी। इन स्टैंड्स पर सोने की परत चढ़ाई गई है।