हिंदू धर्म में अनेक देवी-देवताओं की मान्यता है, इनमें से देवी शाकंभरी भी एक है। हर साल पौष मास की पूर्णिमा पर इनकी जयंती मनाई जाती है। जानें इस बार कब है शाकंभरी जयंती…
पंचांग के अनुसार, इस बार पौष मास की पूर्णिमा तिथि 24 जनवरी, बुधवार की रात 09:50 से 25 जनवरी, गुरुवार की रात 11:23 तक रहेगी। ये पौष मास का अंतिम दिन भी रहेगा।
ज्योतिषियों के अनुसार, चूंकि पौष पूर्णिमा तिथि का सूर्योदय 25 जनवरी, गुरुवार को होगा, इसलिए इसी दिन शाकंभरी जयंती का पर्व मनाया जाएगा। माघ स्नान भी इसी दिन से शुरू होगा।
ग्रंथों के अनुसार, जब पृथ्वी पर अकाल पड़ा तब देवी शाकंभरी प्रकट हुईं और उनकी हजारों आंखों से पानी बरसने लगा, इसी से धरती का अकाल खत्म हुआ और हरियाली लौट आई।
देवी शाकंभरी को हरी सब्जी का भोग लगाते हैं क्योंकि इनकी कृपा से ही धरती पर हरियाली आई। शांकभरी देवी पार्वती का ही रूप हैं। इनकी पूजा से कभी धन-धान्य की कमी नहीं होती।
देवी शाकंभरी का एक नाम शताक्षी भी है, शत आक्षी यानी हजारों आंखों वाली। देवी की हजारों आंखों से निकले आंसू के कारण ही धरती से अकाल समाप्त हुआ था।