बांग्लादेश में आरक्षण को लेकर फैली हिंसा और विरोध के बाद शेख हसीना को अपना देश छोड़ना पड़ा। उनका विमान सबसे पहले इंडिया लैंड हुआ। आइए जानते हैं उनका भारत से क्या कनेक्शन है।
यह पहली बार नहीं है जब वो मुश्किल वक्त में भारत आईं हो। 1975 में भी शेख हसीना ने भारत की शरण ली थी। मामला था उनके पिता और बांग्लादेश के संस्थापक शेख मुजीबुर्रहमान की हत्या का।
बता दें कि 15 अगस्त 1975 शेख हसीना के लिए सबसे बुरा दिन था। क्योंकि उनके परिवार के 17 लोगों की हत्या कर दी गई थी। इस दौरान इंदिरा गांधी सरकार ने उन्हें भारत में शरण दी थी।
शेख हसीना 6 साल दिल्ली में रहीं। इस दौरान उन्होंने भारत की राजनीति की बारीकियां सीखीं।यहां से जाने के बाद उन्होंने अपने पिता की विरासत संभाली और 1996 में पहली बार प्रधानमंत्री बनीं
शेख हसीना के इंदिरा गांधी ही नहीं अटल बिहारी से लेकर आडवानी तक से अच्छे संबंध हैं। हाल ही में जब वो भारत आई थीं तो वह आडवाणी को भारत रत्न मिलने पर बधाई देने पहंची थीं।
जब हाल ही में शेख हसीना भारत दौरे पर थीं तो वह दस जनपथ गई थीं। यहां उन्होंने सोनिया गांधी को गले लगाते हुए मुलाकात की थी।
शेख हसीना ने सोनिया गांधी के अलावा राहुल गांधी से भी मुलाकात की थी। तस्वीर में आप देख सकते हैं राहुल और शेख हसीना एक-दूसरे के गले लगते हुए।