14 सितंबर को परिवर्तनी एकादशी मनाई जाएगी। इस दिन आप सीकर जिले में बाबा खाटूश्याम के दर्शन के साथ ही हरियाणा के हिसार के बाबा के धड़ के दर्शन भी कर सकते हैं।
खाटू मंदिर में केवल भगवान का शीश है। श्याम बाबा भीम के पुत्र घटोत्कच के बेटे बर्बरीक है। जिन्हें श्री कृष्ण के रूप में पूजा जाता है।
महाभारत काल में जब कौरव और पांडव के बीच युद्ध के दौरान जब बर्बरीक जा रहे थे, उस दौरान भगवान श्रीकृष्ण ने बर्बरीक की परीक्षा लेने के लिए दान में उसका शीश मांग लिया था।
बर्बरीक युद्ध में हारने वाले पक्ष की मदद करने के लिए जा रहे थे,श्रीकृष्ण ने उन्हें वरदान दिया कि कलयुग में तुम्हें मेरे नाम से पूजा जाएगा। तुम्हें हारे का सहारा कहा जाएगा।
महाभारत काल के अनुसार- हरियाणा के चुलकाना में बर्बरीक ने शीशदान किया था। जो नदी के रास्ते बहता हुआ खाटू तक पहुंचा। उसके बाद खाटू में राजा के द्वारा मंदिर का निर्माण करवाया गया।
मान्यता है कि वर्तमान में बर्बरीक के धड़ की पूजा हरियाणा के हिसार के बीड़ गांव में होती है। जहां भी लाखों की संख्या में भक्ति दर्शन करने के लिए पहुंचते हैं।