US ने सुबह चेतावनी दी थी काबुल एयरपोर्ट पर हो सकता है ब्लास्ट। 24 घंटे बाद आत्मघाती हमले में 12 अमेरिकी सैनिक सहित 80 लोगों के मरने की खबर है।

काबुल। अफगानिस्तान की राजधानी काबुल के हवाई अड्डे को लेकर तालिबान लगातार आक्रामक दिख रहा है। गुरुवार को काबुल हवाई अड्डे के बाहर 2 आत्मघाती विस्फोट हुआ। अभी तक 12 अमेरिकी सैनिक सहित 80 लोगों के मरने की खबर है। अमेरिकी मीडिया के मुताबिक- घायलों की संख्या 200 से ज्यादा है। बम विस्फोट में मरने वालों में एक बच्चा भी शामिल है। घायल होने वालों में अमेरिकी सेना के कम से कम 12 सैनिक शामिल हैं। पहला विस्फोट काबुल एयरपोर्ट के एबे गेट पर हुआ, जबकि दूसरा ब्लास्ट बरून होटल के पास हुआ है। यहां बिट्रिश सैनिक ठहरे हुए हैं। यह एयरपोर्ट गेट से कुछ ही दूरी पर है। ISIS पर हमला करवाने का आरोप लगा है, हालांकि अभी इसकी पुष्टि होना बाकी है।

Scroll to load tweet…

पेंटागन के प्रेस सेक्रेटरी जॉन कर्बी ने ट्वीट कर विस्फोट की जानकारी दी है। हालांकि, उन्होंने मरने वालों की संख्या का जिक्र नहीं किया है। फिलहाल, किसी आतंकी संगठन ने भी इस वारदात की जिम्मेदारी नहीं ली है। लेकिन पेंटागन ने इसके पीछे ISIS के होने का शक जाहिर किया है।

उधर, कुछ देर पहले ही उड़ान भरते समय इटली के सैन्य परिवहन विमान पर गोलियां चलाई गई। इटली के रक्षा मंत्रालय ने इसकी पुष्टि की है। हालांकि, इस वारदात में किसी प्रकार के नुकसान की जानकारी नहीं हो सकी है। 

बता दें कि अमेरिका सहित कई देशों ने काबुल एयरपोर्ट पर आतंकी हमले की चेतावनी देते हुए अपने नागरिकों को यहां से दूर रहने का अलर्ट जारी किया था। यूएस के अलर्ट के कुछ ही घंटों बाद बड़े वारदात को आतंकियों ने अंजाम दे दिया है। 

वहीं, ब्रिटेन ने दोनों आत्मघाती हमले की पुष्टि की है। साथ ही, नाटो की सेना ने सभी विमानों को सिक्योर कर लिया है। सभी उड़ानों को रद्द कर दिया गया है।

Scroll to load tweet…

इटली के एक पत्रकार ने दी घटना की पूरी जानकारी

हमला वाले फ्लाइट से यात्रा करने वाले एक इतालवी पत्रकार ने मीडिया रिपोर्ट्स में बताया है कि विमान लगभग 100 अफगान नागरिकों को ले जा रहा था लेकिन उड़ान भरने के कुछ मिनट बाद उस पर फायरिंग की गई। इस फायरिंग के पीछे कौन है, इसकी जानकारी नहीं हो सकी है। काबुल एयरपोर्ट पर इस्लामिक स्टेट के हमले को लेकर भी चेतावनी जारी की गई है।

अमेरिका व नाटो देश निकाल रहे अपने नागरिकों को 

तालिबान का काबुल पर कब्जा जमाने के बाद अमेरिका, इटली समेत नाटो देश व अन्य अपने-अपने नागरिकों को अफगानिस्तान से निकाल रहे हैं। सभी देश युद्धस्तर पर अपने नागरिकों को निकालने में जुटे हुए हैं। भारत भी अपने नागरिकों के अलावा हिंदू और सिख अफगान नागरिकों को भी निकालने में जुटा है। इस मिशन को ‘देवी शक्ति‘ नाम दिया गया है।

यह भी पढ़ें: 

कांग्रेस की नवजोत सिद्दू से दो टूकः सलाहकारों को बर्खास्त करें या हम खुद करेंगे

रमन सरकार के चहेते आईपीएस गुरजिंदर पाल की गिरफ्तारी पर रोक, CJI की यह टिप्पणी है नजीर

DRDO ने अब भारत में ही तैयार कर ली 'वो' टेक्नोलॉजी, जो मिसाइलों के हमले से Fighter Planes को बचाएगी

Taliban की आतंकी गतिविधियों का जवाब देने और अपनी सीमाओं की रक्षा में हम सक्षमः CDS बिपिन रावत