आलिया भट्ट (Alia Bhatt) की फिल्म गंगूबाई काठियावाड़ी (Gangubai Kathiawadi) 25 फरवरी को रिलीज हुई। फिल्म बॉक्सऑफिस पर अच्छी कमाई कर रही थी, लेकिन चौथे दिन इसके कलेक्शन में गिरावट देखने को मिल रही है। रविवार की तुलना में फिल्म का कलेक्शन गिरकर करीब आधा रह गया।
मुंबई। आलिया भट्ट (Alia Bhatt) की फिल्म गंगूबाई काठियावाड़ी (Gangubai Kathiawadi) 25 फरवरी को रिलीज हुई। फिल्म बॉक्सऑफिस पर अच्छी कमाई कर रही थी, लेकिन चौथे दिन इसके कलेक्शन में गिरावट देखने को मिल रही है। फिल्म ने सोमवार को 8.19 करोड़ रुपए ही कमाए। इस तरह कुल 4 दिनों में भी फिल्म का आंकड़ा 50 करोड़ तक नहीं पहुंच पाया है। हालांकि, मंगलवार को महाशिवरात्रि के मौके पर छुट्टी होने की वजह से फिल्म की कमाई में इजाफा होने की उम्मीद है।
बता दें कि अलिया भट्ट की फिल्म गंगूबाई काठियावाड़ी (Gangubai Kathiawadi) ने पहले दिन डबल डिजिट के साथ ओपनिंग करते हुए 10.50 करोड़ रुपए कमाए थे। वहीं, दूसरे दिन इसकी कमाई बढ़कर 13.32 करोड़ रुपए हो गई थी, तीसरे दिन फिल्म ने बंपर कमाई करते हुए 15.30 करोड़ रुपए का कलेक्शन किया। लेकिन चौथे दिन फिल्म की कमाई में बड़ी गिरावट दर्ज की गई और इसने महज 8.19 करोड़ रुपए का ही कलेक्शन किया। इस तरह चार दिनों में फिल्म की कुल कमाई 47 करोड़ रुपए तक ही पहुंची है।
160 करोड़ के बजट में बनी है Gangubai Kathiawadi :
बता दें कि गंगूबाई काठियावाड़ी का बजट करीब 160 करोड़ रुपए है, लेकिन फिल्म रिलीज के 4 दिन बाद महज 47 करोड़ रुपए ही कमा पाई है। हालांकि, आलिया भट्ट (Alia Bhatt) की फिल्म को क्रिटिक्स और पब्लिक दोनों की तारीफें मिल रही हैं। बता दें कि इस फिल्म में बॉलीवुड स्टार आलिया भट्ट के साथ-साथ अजय देवगन भी लीड रोल में नजर आ रहे हैं। वैसे, कोरोना महामारी के दौर की यह तीसरी हाइएस्ट ओपनिंग हिंदी फिल्म है। इससे पहले अक्षय कुमार की सूर्यवंशी ने पहले दिन 26.29 करोड़ और रणवीर सिंह की 83 ने 12.64 करोड़ की कमाई की थी।
60 के दशक में मुंबई माफिया का बड़ा नाम थी गंगूबाई :
बता दें कि गंगूबाई काठियावाड़ी (Gangubai Kathiawadi) फिल्म हुसैन जैदी की किताब के एक चैप्टर माफिया क्वींस ऑफ मुंबई पर आधारित है। असल जिंदगी में जिस महिला के किरदार को आलिया निभा रही हैं उनका नाम गंगूबाई कोठेवाली था। एक समय पर गंगूबाई (Gangubai) के संपर्क मुंबई अंडरवर्ल्ड डॉन और राजनेताओं से थे। गंगूबाई 60 के दशक में मुंबई माफिया का बड़ा नाम थीं। बताया जाता है कि उन्हें पति ने महज 500 रुपए के लिए बेच दिया था। इसके बाद से ही वे वेश्यावृत्ति में लिप्त हो गईं थीं। इस दौरान उन्होंने मजबूर लड़कियों के लिए भी बहुत काम किए। कहा जाता है कि गंगूबाई मुंबई के कमाठीपुरा रेड लाइट इलाके में कई कोठे भी चलाती थीं। कहा जाता है कि किसी भी लड़की की मर्जी के बिना गंगूबाई उसे अपने कोठे पर नहीं रखती थीं। उन्होंने अपनी पावर का इस्तेमाल वैश्याओं को उनका अधिकार दिलाने और सशक्त करने में किया था।
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