Electronics Manufacturing पर विजन दस्तावेज़ का 2nd Volume जारी, आईटी मंत्रालय ने बताया रोडमैप

आईटी मंत्रालय ने इलेक्ट्रॉनिक्स क्षेत्र के लिए 5 साल का रोडमैप और विजन दस्तावेज जारी किया है, इसमें 2026 तक 300 बिलियन अमेरिकी डॉलर के इलेक्ट्रॉनिक्स प्रोडक्शन, power station में भारत में बदलाव के लिए बड़े टारगेट और रोडमैप के बारे में जानकारी दी गई है, ये वर्तमान में 75 बिलियन डॉलर से अधिक है।

Asianet News Hindi | Published : Jan 24, 2022 1:42 PM IST / Updated: Jan 24 2022, 07:47 PM IST

बिजनेस एंड टेक डेस्क।  इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय ने आईसीईए (ICEA) के सहयोग से आज इलेक्ट्रॉनिक्स क्षेत्र के लिए 5 साल का रोडमैप और विजन दस्तावेज जारी किया है, इसका शीर्षक है “$300 bn Sustainable Electronics Manufacturing & Exports by 2026.” यह रोडमैप दो-भाग वाले विजन दस्तावेज़ का दूसरा खंड है। इसमें से पहला शीर्षक “Increasing India’s Electronics Exports and Share in GVCs” नवंबर 2021 में जारी किया गया था।

Mobile manufacturing से हासिल होगा बड़ा लक्ष्य 
यह रिपोर्ट विभिन्न उत्पादों के लिए एक वर्ष-वार ब्रेक-अप और उत्पादन अनुमान प्रदान करती है जो भारत के वर्तमान यूएस $ 75 बिलियन से यूएस $ 300 बिलियन electronics manufacturing powerhouse में परिवर्तन का नेतृत्व करेगी। इलेक्ट्रॉनिक्स निर्माण में भारत के विकास का नेतृत्व करने वाले प्रमुख उत्पादों में मोबाइल फोन, आईटी हार्डवेयर (लैपटॉप, टैबलेट), उपभोक्ता इलेक्ट्रॉनिक्स (टीवी और ऑडियो), औद्योगिक इलेक्ट्रॉनिक्स, ऑटो इलेक्ट्रॉनिक्स, इलेक्ट्रॉनिक घटक, एलईडी लाइटिंग, Strategic electronics, PCBA शामिल हैं। , इसमें  पहनने योग्य और सुनने योग्य, और दूरसंचार उपकरणों को शामिल किया गया है। Mobile manufacturing जिसके 100 बिलियन अमेरिकी डॉलर वार्षिक उत्पादन को पार करने की उम्मीद है, इससे लगभग 40फीसदी टारगेट को अचीव होने की उम्मीद है। 
 
मोबाइल प्रोडक्शन में प्रवेश नहीं करेगा दूरसंचार विभाग

केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री अश्विनी वैष्णव (Ashwini Vaishnaw) ने इस उल्लेखनीय गति से दस्तावेजों और नीतिगत ढांचे की वस्तुओं को लाने के प्रयासों के लिए इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय की पूरी टीम को बधाई दी और सराहना की है। कार्यक्रम के दौरान,  वैष्णव ने हाल ही में उनके साथ बातचीत के दौरान उद्योग जगत के प्रमुखों द्वारा उठाए गए कुछ बिंदुओं पर भी अपनी राय स्पष्ट की है। मोबाइल निर्माण में दोहरे नियमों के मुद्दे पर उद्योग की आशंकाओं को संबोधित करते हुए, मंत्री ने स्पष्ट किया कि दूरसंचार विभाग मोबाइल निर्माण में प्रवेश नहीं करने जा रहा है और मोबाइल निर्माण नियामक व्यवस्था समान रहेगी।

इलेक्ट्रॉनिक्स क्षेत्र में तेजी से आघे बढ़ेगा भारत
आज यानि 24 जनवरी 2022 को  जारी विज़न दस्तावेज़ के खंड-2 के उद्देश्य के बारे में बात करते हुए,  राजीव चंद्रशेखर ने कहा, “नए बाज़ार, नए ग्राहक और ग्लोबल वैल्यू चेन (जीवीसी) में एक प्रतिस्पर्धी होने के नाते दूसरे चरण का लक्ष्य और मिशन है। इलेक्ट्रॉनिक्स निर्माण पर पहले खंड के साथ यह वॉल्यूम, लक्ष्य निर्धारण, सरकार और उद्योग के बीच गहन जुड़ाव के बाद विस्तृत रणनीति बनाने का एक शानदार उदाहरण प्रस्तुत करता है। उन्होंने आगे कहा कि दृष्टि दस्तावेज के दूसरे खंड में संख्या पुष्टि करती है कि इलेक्ट्रॉनिक्स क्षेत्र में एक वास्तविक अवसर है, जो 2 फेक्टर द्वारा संचालित है : डिजिटल खपत में वृद्धि और वैश्विक मूल्य श्रृंखलाओं का विकास और विविधीकरण (growth of digital consumption and growth and diversification of global value chains)। अगले 5 वर्षों में घरेलू बाजार के 65 अरब अमेरिकी डॉलर से बढ़कर 180 अरब अमेरिकी डॉलर होने की उम्मीद है। इलेक्ट्रॉनिक्स सेक्टर में साल 2026 तक भारत  2-3 शीर्ष रैंकिंग निर्यातों में शामिल हो जायेगा ।

सरकार ने किया PLI योजना का ऐलान
 इलेक्ट्रॉनिक्स विनिर्माण, सेमीकंडक्टर और डिस्प्ले इकोसिस्टम को आगे बढ़ाने के लिए सरकार ने PLI योजना का ऐलान किया है।  सरकार ने अगले 6 वर्षों में चार पीएलआई योजनाओं - सेमीकंडक्टर और डिजाइन, स्मार्टफोन, आईटी हार्डवेयर और घटकों ( Semiconductor and Design, Smartphones, IT Hardware and Components) में लगभग 17 बिलियन अमेरिकी डॉलर का निवेश करेगी। आईटी मंत्रालय का विजन दस्तावेज़ इलेक्ट्रॉनिक्स क्षेत्र में कुल घरेलू मूल्यवर्धन पर ध्यान केंद्रित करने की आवश्यकता पर एक मजबूत बल देता है, क्योंकि भारत यदि अपनी वर्तमान स्थिति को बदल देता है तो वह चीन और वियतनाम के साथ प्रतिस्पर्धा करने के लिए तैयार है। 

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