Economic Survey: वित्त मंत्री ने पेश किया आर्थिक सर्वे, 2023-24 में विकास दर 6.5% रहने का अनुमान

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने मंगलवार को संसद में इकोनॉमिक सर्वे पेश किया। इस आर्थिक सर्वेक्षण (Economic Survey) में 2023-24 के लिए विकास दर 6 से 6.8% रहने का अनुमान जताया गया है। हालांकि, बेसलाइन एवरेज ग्रोथ 6.5% रखी गई है।

Ganesh Mishra | Published : Jan 31, 2023 6:28 AM IST / Updated: Jan 31 2023, 02:17 PM IST

Economic Survey: केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण मंगलवार को संसद में इकोनॉमिक सर्वे (Economic Survey 2022-23) पेश किया। बजट से ठीक एक दिन पेश किए जाने वाले इस आर्थिक सर्वेक्षण (Economic Survey) में 2023-24 के लिए विकास दर 6 से 6.8% रहने का अनुमान जताया गया है। हालांकि, बेसलाइन एवरेज ग्रोथ 6.5% रखी गई है। बता दें कि यह पिछले 3 साल में सबसे धीमी ग्रोथ होगी। वहीं, नॉमिनल जीडीपी का अनुमान 11% लगाया गया है। वित्त वर्ष 2022-23 के लिए रियल GDP अनुमान 7% लगाया गया है। बता दें कि इकोनॉमिक सर्वे में सकल घरेलू उत्पाद (GDP) अनुमान, महंगाई दर अनुमान, विदेशी मुद्रा भंडार और व्यापार घाटे से जुड़ी जानकारी शामिल होती हैं। 

आर्थिक सर्वे की प्रमुख बातें : 

आर्थिक सर्वे पेश होने के बाद अब चीफ इकोनॉमिक एडवाइजर (CEA) और दूसरे सीनियर अफसर प्रेस कॉन्फ्रेंस करेंगे। बता दें कि आम बजट 1 फरवरी को पेश होगा। यह 2024 के लोकसभा चुनाव से पहले मोदी सरकार का अंतिम पूर्ण बजट है। मोदी सरकार साल 2014 से अब तक कुल 9 बजट पेश कर चुकी है। इस साल 10वां बजट पेश करने जा रही है।

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क्या होता है इकोनॉमिक सर्वे?

वित्त मंत्री हर साल 1 फरवरी को देश का आम बजट (Union Budget) पेश करती हैं। इससे ठीक एक दिन पहले आर्थिक सर्वेक्षण (Economic Survey) को संसद के सामने रखा जाता है। आर्थिक सर्वेक्षण बजट का बेस होता है, जो अर्थव्यवस्था की पूरी तस्वीर दिखाता है। आर्थिक सर्वेक्षण के माध्यम से सरकार देश की अर्थव्यवस्था (Indian Economy) की ताजा स्थिति के बारे में बताती है। इसमें साल भर में डेवलपमेंट ट्रेंड, किस सेक्टर से कितनी कमाई हुई, किस सेक्टर में कौन-सी योजनाएं लागू हुईं जैसी चीजों का ब्योरा होता है। सरल शब्दों में कहें तो इसमें एक साल के अंदर सरकार ने कितना पैसा जमा किया और कहां-कहां खर्च किया, इसका पूरा ब्योरा होता है।

कैसे तैयार होता है इकॉनोमिक्स सर्वे?

इकोनॉमिक्स सर्वे को वित्त मंत्रालय बनाता है। यह एक तरह से बजट के पहले आने वाली सालाना रिपोर्ट है। इस सर्वे को मंत्रालयों के इकोनॉमिक्स अफेयर विभाग तैयार करते हैं। इकोनॉमिक सर्वे को देश के चीफ इकॉनोमिक्स एडवाइजर (CEA) की देखरेख में तैयार किया जाता है। इनकी टीम में CEA (Chief Economic Advisor) के साथ वित्त और आर्थिक मामलों के जानकार शामिल रहते हैं। बता दें कि वी अनंत नागेश्वरन को हाल ही में नया सीईए (Chief Economic Advisor) नियुक्त किया गया है। उन्होंने केवी सुब्रमण्यम की जगह ली है।

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