आलोक को ये सफलता पहली बार में नहीं बल्कि तीसरी बार में हासिल हुई। पहली बार उन्होंने यूपीएससी की परीक्षा साल 2016 में दी थी। लेकिन उस वक्त आलोक प्रीलिम्स परीक्षा को पास नहीं कर पाए थे। दूसरे अटैम्प्ट में मेन्स क्लीयर नहीं कर पाए।
जिसके बाद उन्हें तीसरी बार में ये सफलता हासिल हुई। आलोक अपनी जॉब के साथ-साथ पढ़ाई भी करते थे। आलोक के मुताबिक पहले जॉब में उन्हें 12 से 13 घंटे तक काम करना पड़ता, जिसकी वजह से पढ़ाई और जॉब को मैनेज करना काफी मुश्किल होता था।
(Demo Pic)