प्रेग्नेंसी के दौरान सोनोग्राफी करवाने से बच्चे की हर गतिविधि की सटीक जानकारी मिलती है। गर्भ में पल रहा बच्चा किस तरीके से ग्रोथ कर रहा है, उसके दिल की धड़कन कैसी है, उसके हाथ-पैर और शरीर का अन्य हिस्सा सही तरीके से बढ़ रहा है या नहीं, यहां तक कि बच्चे की डेट ऑफ डिलीवरी और उसके वेट का पता भी अल्ट्रासाउंड के जरिए चल जाता है।