डूंगरपुर, राजस्थान. यह तस्वीर लॉकडाउन के बीच सरकारी इंतजामों की पोल खोलती है। काम-धंधा बंद होने के बाद एक परिवार के सामने भूखों मरने की नौबत आ गई। घर जाने के लिए न तो पैसा था और न ही साधन। लिहाजा, यह फैमिली पैदल ही अपने घर को निकल पड़ी। महिला को मालूम था कि वो 9 महीने की गर्भवती है, लेकिन वो बेबस थी। उसके साथ 2 साल की लड़की और 1 साल का लड़का भी था। पति ने रास्तेभर कइयों से मदद मांगी। कई जगह पुलिस और प्रशासन के अफसरों से सामना हुआ, लेकिन किसी ने मदद नहीं की। गनीमत रही कि डूंगपुर में यानी 200 किमी का सफर करने के बाद एक चौकी पर पुलिसवालों को इन पर दया आई। यहां उन्हें खाना खिलाया गया और फिर एम्बुलेंस की व्यवस्था करके उन्हें घर पहुंचा गया।