'इश्किया गणेश मंदिर': यहां लगती है मोहब्बत की अर्जी..चमत्कार ऐसा कि हर अधूरी लव स्टोरी होती है पूरी

जोधपुर. देशभर में आज गणेश चतुर्थी का त्योहार मनाया जा रहा है, भाद्रपद शुक्ल चतुर्थी के दिन गणपति का जन्म हुआ था इसलिए इस दिन को गणेश चतुर्थी के रूप में मनाया जाता है। इस वर्ष कोरोना संकट की वजह से पंडालों में बड़े पैमाने पर गणेश उत्सव मनाने पर रोक है। हलांकि लोग अपने-अपने घरों में बप्पा को विराजमान कर रहे हैं। देश में भगवान श्रीगणेश के अनेक मंदिर हैं, लेकिन कुछ ऐसे भी हैं जो चमत्कार की वजह से भक्तों में लोकप्रिय हैं। हम आपको आज ऐसे मंदिर के बारे में बताने जा रहे हैं, जिन्हें लोग 'इश्किया गणेश' कहते हैं।
 

Asianet News Hindi | Published : Aug 22, 2020 8:22 AM IST / Updated: Aug 22 2020, 01:56 PM IST

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'इश्किया गणेश मंदिर': यहां लगती है मोहब्बत की अर्जी..चमत्कार ऐसा कि हर अधूरी लव स्टोरी होती है पूरी

बप्पा के दर्शन करने से हर अधूरी लव स्टोरी होती है पूरी
जानकारी के अनुसार यह इश्किया मंदिर राजस्थान के जोधपुर शहर में हैं। यहां के बारे में कहा जाता है कि अगर कोई प्रेमी  कपल यहां आकर बप्पा के दर्शन करता है तो उनका प्रेम परवान चढ़ता है और उनकी सारी मुरादें तुरंत ही पूरी होती हैं। जिन लोगों की शादियां नहीं होती हैं, उनके परिवार वाले भी यहां आकर अपने बेटा-बेटियों के लिए मन्नत मांगते हैं।

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100 साल पुराना है यह मंदिर
स्थानीय लोगों को कहना है कि जोधपुर का ये इश्किया गणेश मंदिर करीब 100 साल पुराना है। शहर की संकरी गलियों में स्थित यह मंदिर देखने में भले ही छोटा हो, लेकिन इसकी मान्यता बड़ी है। मूर्ति की प्रसिद्धि देश में ही नहीं विदेशों में भी है, राजस्थान घूमने आने वाले पर्यटक एक बार यहां जरुर आते हैं।
 

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 'इश्किया गणेश' के दर्शन करने आते हैं कपल
स्थानीय लोगों के मुताबिक, पहले इस मंदिर में अधिकतर कपल ही आकर समय बिताते थे। क्योंकि शहर में ऐसी कोई जगह नहीं थी जहां वह मिल सकें। इसलिए वह यहां आकर घंटो बैठे रहते थे ताकि कोई उनसे कुछ ना कहे। अब राजस्थान ही नहीं दूसरे राज्यों से लोग यहां आकर अपनी मन्नत को पूरा करते हैं। अगर किसी प्रेमी जोड़े के प्रेम में कोई परेशानी आती है तो यह 'इश्किया गणेश' उनकी सहायता करते हैं।

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प्रेमी जोड़े बप्पा के दरबार में लगाते हैं हाजरी
बताया जाता है कि जो भी प्रेमी जोड़ा अपनी मुराद लेकर आता है तो वह जिंदगी भर के लिए एक हो जाता है। यानि उनकी शादी हो जाती है। कई जोड़े आज ऐसे भी हैं जो अपनी मुराद पूरी हो के बाद भी बप्पा के दरबार में हाजरी लागाने आते हैं। वह कहते हैं कि  इश्किया गणेश के आशीर्वाद से ही उनको प्यार में सफलता मिली है और वे आज शादी करके एक साथ हैं।

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 धूमधाम से मनाया जाता है गणेश उत्सव 
गणेश उत्सव के दौरान तो  'इश्किया गणेश' मंदिर में रोज हजारों प्रेमी जोड़े और अन्य भक्त आते हैं। बड़ी धूमधाम से यहां यह त्यौहार मनाया जाता है। इसके अलावा जिन लोगों की शादियां नहीं होती हैं, उनके परिवार वाले लोग भी यहां आकर सुयोग्य वर और वधू की कामना करते हैं

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पूरे देश में इश्किया गजानंद जी मंदिर के नाम से जाना जाता है यह मंदिर।

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