Published : May 12, 2020, 07:56 AM ISTUpdated : May 12, 2020, 07:57 AM IST
कानपुर (Uttar Pradesh) । कोरोना वायरस के खौफ से लोग पहले से ज्यादा साफ सफाई पर ध्यान देने लगे हैं। बेवजह घरों से निकलने से भी परहेज किया जा रहा है। इतना ही नहीं इसका असर शादी के आयोजनों में भी देखने को मिल रहा है। जी हां शादी समारोह होने वाले फिजूलखर्ची पर लगाम लग गया है। इसका एक और उदाहरण कानपुर में देखने को मिला। जहां सिख समुदाय के दो परिवारों ने सोशल डिस्टेसिंग का पालन करते हुए अपने बेटे-बेटी की शादी की। दूल्हे व दुल्हन ने मास्क के अलावा फेस शील्ड पहनकर एक दूसरे को वरमाला पहनाई। इससे पहले वरमाला सहित व अन्य सामान को सैनिटाइज किया गया था।
सरकार के गृह मंत्रालय की एडवायजरी है कि शादी समारोह में 50 से अधिक लोग शामिल नहीं हो सकते। लेकिन, इस समारोह में दोनों पक्षों से महज पांच-पांच बाराती शामिल हुए। उन लोगों ने भारत सरकार की गाइड लाइन का अनुपालन किया।
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दूल्हे नारायण नारंग ने बताया कि शादी की तारीख पहले से तय थी। इसलिए हमने कानपुर के डीएम ब्रह्मदेव राम तिवारी व वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अनंत देव तिवारी से इस शादी समारोह की अनुमति ली।
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शादी समारोह परंपराओं के तहत गुरुद्वारे में संपन्न हुआ। हर किसी ने सोशल डिस्टेंसिंग बनाए रखी और चेहरे को मास्क व शील्ड से कवर कर रखा था।
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दूल्हे नारायण नारंग ने कहा कि इस समय कम लागत वाली ऐसी शादियां काफी अच्छी हैं। दूसरी ओर दुल्हन अदिति इस शादी को लेकर काफी खुश नजर आईं। उन्होंने कहा कि मैंने कभी सोचा नहीं था कि मेरी शादी लॉकडाउन के दौरान होगी।
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दूल्हे की बहन रिचा ने कहा कि समारोह के दौरान परिवार के प्रत्येक पक्ष से केवल पांच सदस्यों ने शादी समारोह में हिस्सा लिया। गुरूद्धारा कमेटी के सदस्यों ने भी अपने चेहरे पर रुमाल बांध रखी थी।