देश के किसान कृषि कानूनों के विरोध में बीते दस दिनों से सड़क पर हैं। वे दिल्ली बॉर्डर पर डेरा डाले हुए हैं। किसानों के विरोध के गतिरोध को खत्म करने के लिए सरकार और किसानों के बीच अब तक पांच दौर की बातचीत हो चुकी है। कृषि कानूनों के खिलाफ विरोध प्रदर्शन कर रहे किसानों का समर्थन करने के लिए बॉक्सर विजेंदर सिंह सिंघु बॉर्डर पहुंचे।
नई दिल्ली. देश के किसान कृषि कानूनों के विरोध में सिंघु बॉर्डर पर जमे हुए हैं। भारतीय किसान यूनियन के जनरल सेक्रेटरी जगमोहन सिंह ने कहा, किसान इतने सालों से मोदी की मन की बात सुन रहे हैं अब सरकार किसानों के मन की बात सुनें। उन्होंने कहा, सरकार ने बातचीत के लिए समय मांगा है पर पता नहीं किससे बात करेंगे ऑफिसर्स से कॉर्पोरेट घरानों से या नागपुर RSS से।
आंदोलन तेज करने की मजबूरी
किसान नेता बलदेव सिंह ने कहा, गुजरात से 250 नौजवान किसानों का जत्था मोटरसाइकिलों पर दिल्ली आ रहा है। आंदोलन को तेज करना हमारी मजबूरी है क्योंकि केंद्र सरकार हमारे मुद्दों पर संजीदगी से काम नहीं ले रही है।
सुबह से शाम तक बंद रहेगा भारत
योगेंद्र यादव ने कहा, 8 तारीख को सुबह से शाम तक भारत बंद रहेगा। चक्का जाम शाम तीन बजे तक रहेगा। दूध-फल-सब्जी पर रोक रहेगी। शादियों और इमरजेंसी सर्विसेज पर किसी तरह की रोक नहीं होगी।
इन 11 पार्टियों ने किया भारत बंद का समर्थन
किसानों के विरोध के गतिरोध को खत्म करने के लिए सरकार और किसानों के बीच अब तक पांच दौर की बातचीत हो चुकी है। 8 दिसंबर को किसानों ने भारत बंद का आह्वान किया है। इस बंद को 11 राजनीतिक पार्टियों और 10 केंद्रीय ट्रेड यूनियनों ने समर्थन किया है। कांग्रेस ने ऐलान किया है कि वह 8 दिसंबर को भारत बंद का समर्थन करेगी। इसके अलावा लेफ्ट पार्टियों, तृणमूल कांग्रेस, राष्ट्रीय जनता दल, तेलंगाना राष्ट्र समिति (TRS), राष्ट्रीय लोकदल (RLD) ने भी इस बंद का समर्थन किया है। उधर दिल्ली में अरविंद केजरीवाल की पार्टी ने बंद का समर्थन किया है और उन्होंने देशवासियों से किसानों का साथ देने की अपील की है।
वहीं, ऑल इंडिया किसान संघर्ष कोऑर्डिनेशन कमेटी, ऑल इंडिया ट्रेड यूनियन कांग्रेस, इंडियन नैशनल ट्रेड यूनियन कांग्रेस, हिंद मजदूर सभा, ऑल इंडिया यूनाइटेड ट्रेड यूनियन सेंटर, सेंटर ऑफ इंडियन ट्रेड यूनियंस , ट्रेड यूनियन कोऑर्डिनेशन सेंटर ने भी इस बंद को समर्थन किया है।
विजेंदर सिंह बोले- खेलरत्न वापस कर दूंगा
कृषि कानूनों के खिलाफ विरोध प्रदर्शन कर रहे किसानों का समर्थन करने के लिए बॉक्सर विजेंदर सिंह सिंघु बॉर्डर पहुंचे। विजेंदर सिंह ने कहा, "अगर सरकार ये काले कानून वापस नहीं लेती तो मैं सरकार को खेल का सबसे बड़ा सम्मान राजीव गांधी खेल पुरस्कार वापस करूंगा।"
कांग्रेस ने 8 दिसंबर को होने वाले किसानों के भारत बंद के समर्थन का ऐलान किया। पार्टी प्रवक्ता पवन खेड़ा ने बताया कि हम आंदोलन के सपोर्ट में अपनी पार्टी ऑफिस में प्रदर्शन करेंगे। इससे राहुल गांधी के किसानों के प्रति सपोर्ट को मजबूती मिलेगी। वहीं, तेलंगाना के मुख्यमंत्री और तेलंगाना राष्ट्रीय समिति (TRS) के अध्यक्ष के चंद्रशेखर राव ने भी भारत बंद के सपोर्ट की घोषणा की। इससे पहले TMC सांसद सुदीप बंदोपाध्याय ने कहा था कि पार्टी मजबूती के साथ किसानों के साथ खड़ी है और भारत बंद में उनका पूरा समर्थन करेगी।
पूर्व कमांडेंट वापस करेंगे राष्ट्रपति पदक
किसानों के समर्थन में कई हस्तियां सामने आ रही हैं और अवार्ड वापसी का सिलसिला भी चल पड़ा है। इस कड़ी में अब पंजाब के पटियाला में पंजाब होम गार्ड्स के एक सेवानिवृत्त कमांडेंट राय सिंह धालीवाल ने प्रदर्शनकारी किसानों के साथ एकजुटता के साथ अपना राष्ट्रपति पदक वापस करने की घोषणा की है। बता दें कि इससे पहले गुरुवार को एनडीए से अलग हो चुके शिरोमणि अकाली दल के नेता और पंजाब के पूर्व सीएम प्रकाश सिंह बादल ने किसानों के समर्थन में अपना पद्म विभूषण पुरस्कार लौटा दिया है। उनके अलावा पार्टी के राज्यसभा सांसद सुखदेव सिंह ढींढसा ने भी इन कृषि कानूनों के विरोध में अपना पद्म भूषण पुरस्कार लौटाने का ऐलान कर दिया है।
किसानों की बस एक ही बात Yes या No
किसानों का तीखा तेवर बैठक में भी दिखा। वार्ता के दौरान किसान नेता सरकार से बेहद नाराज नजर आए। किसान नेताओं ने कहा कि सरकार हमारी मांगों पर फैसला ले, नहीं तो हम बैठक से जा रहे हैं। किसान संगठनों ने कहा कि हमारे पास एक साल की सामग्री है। सरकार को तय करना है वो क्या चाहती है। किसान नेताओं ने सरकार से कहा कि आप बता दीजिए कि आप हमारी मांग पूरी करेंगे या नहीं। किसान सरकार से हां या ना में जवाब मांग रहे थे। वे प्ले कार्ड लेकर पहुंचे थे, जिसपर Yes or No लिखा था।
9 दिसंबर को होगी अगली वार्ता: कृषि मंत्री
किसान नेताओं के साथ बैठक के बाद कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि किसान नेताओं के साथ चर्चा का पांचवां दौर खत्म हुआ।अच्छे माहौल में चर्चा हुई। हमने किसान नेताओं से कहा कि MSP जारी रहेगी। लेकिन फिर भी किसी के मन में शंका है तो सरकार उसका समाधान करने के लिए तैयार है। APMC और मजबूत हो, सरकार इसके लिए तैयार है। सरकार APMC पर गलतफहमी को दूर करने के लिए तैयार है। हम लोग चाहते थे कि कुछ विषयों पर सुझाव मिल जाए, लेकिन बातचीत के दौर में ये नहीं हो सका। कृषि मंत्री ने कहा कि अब 9 दिसंबर को वार्ता होगी। सबकी सहमति से अगली बातचीत की तारीख तय की गई।