भारत मौसम विज्ञान विभाग के महानिदेशक मृत्युंजय महापात्र ने कहा कि चक्रवात आसनी के अंडमान द्वीप समूह के साथ-साथ म्यांमार और दक्षिण बांग्लादेश तट की ओर बढ़ने का अनुमान है। यह कल एक चक्रवाती तूफान में बदल सकता है।
नई दिल्ली। आसनी चक्रवात को लेकर अंडमान और निकोबार द्वीप समूह में अलर्ट जारी कर दिया गया है। आसनी चक्रवात से तबाही की आशंका को देखते हुए कम से कम नुकसान के लिए प्रशासन ने तैयारियां भी सुनिश्चित कर ली हैं। लोगों को तूफान से संभावित प्रभावित क्षेत्रों से निकाला जा रहा है। सेना ने भी अपने जहाजों और राहत टीमों को स्टैंडबाय पर रखा है क्योंकि द्वीपसमूह ने चक्रवात आसनी के कारण भारी बारिश और तेज हवाओं का अनुमान है।
मौसम विभाग ने बताया किधर जा रहा चक्रवात
भारत मौसम विज्ञान विभाग के महानिदेशक मृत्युंजय महापात्र ने कहा कि चक्रवात आसनी के अंडमान द्वीप समूह के साथ-साथ म्यांमार और दक्षिण बांग्लादेश तट की ओर बढ़ने का अनुमान है। उन्होंने स्पष्ट किया कि चक्रवात अंडमान द्वीप समूह में दस्तक नहीं देगा। हालांकि, मौसम प्रणाली के सोमवार को पहले गहरे दबाव और बाद में चक्रवाती तूफान में बदलने की संभावना है। भारत मौसम विज्ञान विभाग, या आईएमडी ने अपनी वेबसाइट पर कहा कि यह कल एक चक्रवाती तूफान में बदल सकता है।
मछुवारों को वापस भेजा जा रहा
आसनी चक्रवात को देखते हुए जहाज, विमान, हेलीकॉप्टर, गोताखोरी और आपदा राहत दल स्टैंडबाय पर रखा गया हैं। तटरक्षक बल के जहाज मछुआरों को समुद्र में वापस बंदरगाह तक ले जा रहे हैं। द्वीप प्रशासन ने कहा कि उसने निचले इलाकों से लोगों को निकालने सहित किसी भी स्थिति से निपटने के लिए उचित योजना बनाई है।
अधिकारियों ने कहा कि राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल या एनडीआरएफ के करीब 100 कर्मियों को तैनात किया गया है और द्वीपों के कुछ हिस्सों में छह राहत शिविर बनाए गए हैं।
द्वीपों के कई हिस्सों में भारी बारिश शुरू
द्वीपों के कुछ हिस्सों में आज दोपहर बारिश और तेज हवाएं देखी गईं। अंतर-द्वीप शिपिंग सेवाओं को रोक दिया गया है और मछुआरों को बाहर न जाने की चेतावनी दी गई है।
लोगों को पर्याप्त सुविधा उपलब्ध कराने का आदेश
केंद्र शासित प्रदेश के मुख्य सचिव जितेंद्र नारायण ने अधिकारियों से चक्रवात से प्रभावित लोगों के लिए पर्याप्त भोजन और प्रावधान सुनिश्चित करने को कहा है। कल, अंडमान द्वीप समूह के अधिकांश स्थानों पर हल्की से मध्यम वर्षा और गरज के साथ छींटे पड़ने की संभावना है। चक्रवात के बांग्लादेश-म्यांमार तट की ओर बढ़ने की आशंका है।
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