
जयपुर (राजस्थान). अग्निपथ योजना के विरोध में देश भर में बवाल मचा हुआ है। इस बचाल से राजस्थान भी अछूता नहीं है। बवाल को लेकर ही कई संगठनों ने आज पूरे भारत बंद का आह्वान किया है। लेकिन इस आह्वान से पहले ही राजस्थान में सत्तर हजार से भी ज्यादा पुलिसवालों ने कमर कस ली है। राजधानी में तो धारा 144 ही लागू कर दी गई है। किसी भी तरह का धरना, प्रदर्शन , विरोध और जूलूस को अनुमति नहीं है। अगर कोई प्रदर्शन करता है तो उससे सख्ती से निपटने के निर्देश देर शाम ही पुलिस मुख्यालय ने जारी कर दिए हैं। रेलवे स्टेशन, पटरियों की सुरक्षा बढ़ा दी गई है। बड़े चौराहों पर पुलिस बल की अधिक संख्या में तैनाती की गई है।
जयपुर समेत सात शहरों में हो चुका है बवाल
पिछले सप्ताह जयपुर समेत सात शहरों में अग्निपथ योजना को लेकर बवाल मच चुका है। जयपुर में तोड़फोड़ की जा चुकी है। सीकर में आगजनी की गई और पुलिस पर पथराव किया जा चुका है। वहीं भरतपुर और धौलपुर में पटरियों पर बवाल मच चुका है। भरतपुर में तो पुलिस ने आंसू गैस के गोले तक छोड़े हैं। नागौर और अजमेर में भी पुलिस को प्रदर्शनकारियों का विरोध झेलना पड चुका है। निजी और सरकारी बसों को नुकसान पहुंचाया जा चुका है। यही कारण है कि अब इस बवाल से निपटने के लिए सख्ती की जा रही है। किसी भी तरह का उप्रदव या जूलूस पूरे प्रदेश में ही अलाउ नहीं है।
पुलिसवालों की छुट्टियां रद्द कर दी गई
राजस्थान में हुए बवाल के बाद दो दिन पहले पुलिस मुख्चयालय से पुलिसकमियों के लिए मौखिक निर्देश भी जारी किए गए हैं। पुलिस मुख्यालय के अफसरों ने सभी जिलों के पुलिस अधीक्षकों को निर्देश दिए हैं कि वे अपने अपने जिलों मंे पुलिस की तैनात जांचे और इसकी रिपोर्ट जल्द ही मुख्यालय को भेजें। साथ ही आगामी आदेशों तक बहुत ही जरुरी होने पर नियमानुसार पुलिसकर्मियों को अवकाश दिया जाए। इसके अलावा सभी की छुट्टियां रद्द कर दी जाएं। इसी निर्देशों की पालना करने के लिए पुलिस अधीक्षकों ने आगामी आदेशों तक पुलिसवालों की छुट्टियां कैंसिल कर दी हैं।
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