फोन टेपिंग मामले को लेकर सीएम के ओएसडी लोकेश शर्मा को दिल्ली क्राइम ब्रांच ने बुलाया, बढ़ सकती है उनकी परेशानी। जोधपुर के मंत्री गजेंन्द्र सिंह शेखावत ने कराई थी शर्मा के खिलाफ कंपलेन।
जयपुर.यह साल राजस्थान सरकार, सीएम अशोक गहलोत और उनके खास मंत्रियों, नेताओं और अन्य सिपहसालारों के बीच बेहद उतार चढ़ाव वाला रहा है। कभी दंगे, कभी झगड़े, कभी और भी बड़े विवाद और इस परेशानियों के बीच चिंतन शिविर। परेशानियां यहीं ही थमी नहीं हैं। अब सीएम के खास आदमी को लेकर सीएम परेशान हो चले हैं। दरअसल सीएम अशोक गहलोत का काम संभालने वाले उनके ओएसडी लोकेश शर्मा को दिल्ली क्राइम ब्रांच ने नोटिस भेजा है। नोटिस मिलते ही शर्मा उदयपुर का चिंतन शिविर छोड़कर दिल्ली की गाड़ी पकड़ वहां पहुंच गए हैं। उनके खिलाफ दिल्ली में केंद्रीय मंत्री और जोधपुर के मूल निवासी गजेन्द्र सिंह शेखावत ने केस दर्ज कराया था।
यह है पूरा मामला , फोन टेप करने की एफआईआर दर्ज कराई गई थी
दरअसल राजस्थान में कुछ महीनों पहले सरकार संकट में आ गई थी। गहलोत कैंप के बगावत करने पर सीएम अशोक गहलोत को जयपुर से दिल्ली तक कई बार दौड लगानी पडी थी। सरकार गिरते गिरते बची थी। लेकिन इस बीच सरकार पर आरोप लगे कि उन्होनें भाजपा के कुछ बड़े नेताओं के फोन टेप कराए । फोन टेपिंग के इन आरोपों के बीच केंद्रीय मंत्री गजेन्द्र सिंह शेखावत ने कुछ समय पहले दिल्ली में एफआईआर दर्ज करा दी। यह एफआईआर सीएम के ओएसडी लोकेश शर्मा पर थी। उन पर ही फोन टेप के आरोप लगे हैं। मामला कोर्ट तक भी जा पहुंचा था।
चार बार बुला चुकी क्राइम ब्रांच, एक बार पहुंचे शर्मा... गिरफ्तारी का डर
फोन टेपिंग मामले में शर्मा की ओर से मिल रहे असहयोग के लिए दिल्ली पुलिस कोर्ट तक जा पहुंची है और शर्मा पर कॉपरेट नहीं करने के आरोप भी लगाए गए हैं। इस मामले को लेकर दिल्ली हाईकोर्ट में 9 मई को सुनवाई हुई थी। जिसमें 40 मिनट तक दोनों पक्षों में बहस हुई थी और उसके बाद सुनवाई की अगली तारीख 14 जुलाई तय कर दी गई थी। बताया जा रहा है कि शर्मा को पहले भी चार बार नोटिस जारी हो चुके है। लेकिन वह सिर्फ एक बार 6 दिसंबर को क्राइम ब्रांच के सामने पेश हुए थे। हालांकि लोकेश शर्मा ने दिल्ली पुलिस की एफआईआर को क्षेत्राधिकार का हवाला देते हुए दिल्ली हाईकोर्ट में अपील की हुई है।
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