राजस्थान मे बवाल: छात्रनेता को फिल्मी अंदाज में उतारा मौत के घाट...इतना पीटा की खून से सन गई पूरी बॉडी

राजस्थान में पंद्रह दिन पहले ही छात्रसंघ चुनाव हुए थे। जहां चुनाव लड़ने के दौरान ही प्रत्याशी को जान से मारने की धमकिया मिल रही थी। लेकिन पुलिस ने इसे गंभीरता से नहीं लिया। शुक्रवार की रात आरोपियों ने फिल्मी तरीके से छात्रनेता की गाड़ी को दोनो तरफ से ब्लॉक कर वारदात को अंजाम दिया।

Sanjay Chaturvedi | Published : Sep 10, 2022 7:05 AM IST

झुझुनूं. राजस्थान में छात्रसंघ चुनाव जैसे तैसे निपटे लेकिन चुनाव के दौरान हुई रंजिश के चलते एक छात्र नेता की देर रात हत्या कर दी गई। हत्या फिल्मी अंदाज मे की गई। छात्र नेता की कार को आगे और पीछे दो गाड़ियों से घेरा किया और उसके बाद जैसे ही वह बाहर निकला उसे सरियों से इतना पीटा गया कि वह अस्पताल भी नहीं पहुंच सका। मौके पर ही दम तोड़ दिया। उसके साथी को भी बुरी तरह से पीटा गया है। उसकी हालत बेहद गंभीर बनी हुई है। पूरा घटनाक्रम झुझुनूं जिले का है। 

कार में साथी के साथ घर लौट रहा था राकेश 
दरअसल झुझुनूं जिले के सेठ मोती लाल कॉलेज से पूर्व छात्रसंघ अध्यक्ष एसएफआई के राकेश झांझडिया  बीती रात अपने साथी संजय के साथ केहरपुरा से भडौद इलाके की ओर अपनी कार से जा रहे थे। इस दौरान सड़क पर आगे चल रही कार ने अचानक कार की गति धीमी करना शुरु कर दिया। संजय ने हॉर्न बजाया तो कार चालक ने बीच सड़क कार रोक दी। संजय ने कार पीछे ली तो पीछे से एक और कार ने संजय की कार के ठीक पास कार रोक दी और संजय को कार बैक नहीं लेने दी।

10 से ज्यादा लोगों ने किया एक साथ हमला
कार ब्लॉक होने के बाद संजय और राकेश दोनो उससे बाहर निकले। जैसे ही दोनो बाहर निकले दोनो कारों में सवार दस से भी ज्यादा बदमाशों ने संजय और राकेश को घेरकर अचेत होने तक मारा। उसके बाद आरोपी वहां से फरार हो गए। संजय को कुछ देर में होश में आया तो उसने राकेश के परिजनों को फोन कर घटना के बारे में  बताया और वह फिर से बेहोश हो गया। राकेश के परिवार के लोग और साथी वहां पहुंचे तो देखा खून से सनी हालत में दोनो सड़क पर पडे़ हैं। पुलिस को इसकी सूचना दी गई तो पुलिस मौके पर पहुंची। दोनो को अस्पताल में भर्ती कराया लेकिन तब तक राकेश की मौत हो चुकी थी।

पुलिस के खिलाफ खोला मोर्चा, लगाए गंभीर आरोप
एसएफआई के जिला अध्यक्ष पकंज को इसका पता चला तो वे अपने साथियों को लेकर अस्पताल पहुंचे। वहां पर पुलिस के खिलाफ मोर्चा खोल दिया। उन्होंने पुलिस पर आरोप लगाए कि चुनाव के दौरान ही राकेश को धमकियां मिल रही थी, धमकी देने वाले बदमाशों के नाम तक बताए लेकिन पुलिस ने कार्रवाई नहीं की। अब वही हुआ जिसका डर था। हत्या की इस वारदात के बाद अब परिजनों ने शव लेने से इंकार कर दिया हैं। जिन लोगों पर हत्या का आरोप है वे वांटेड बदमाश हैं। उनकी तलाश की जा रही है। जिले में भारी पुलिस बंदोबस्त किया गया है।

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