झारखंड का CM बनते ही चंपई की टीम हैदराबाद रवाना, इधर SC से मिला हेमंत को झटका

चंपई सोरेन झारखंड के नए सीएम बन गए हैं। उन्होंने राजभवन में पद की शपथ ली। दूसरी ओर हेमंत सोरेन की याचिका पर शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई। कोर्ट ने उन्हें पहले हाईकोर्ट जाने के लिए कहा है।

Vivek Kumar | Published : Feb 2, 2024 4:54 AM IST / Updated: Feb 02 2024, 03:01 PM IST

नई दिल्ली/रांची। चंपई सोरेन झारखंड के नए सीएम बन गए हैं। झारखंड के राज्यपाल सीपी राधाकृष्णन ने उन्हें राजभवन में पद की शपथ दिलाई। आलमगीर आलम और सत्यानंद भोक्ता ने मंत्री पद की शपथ ली है। वहीं, सत्ताधारी गठबंधन के विधायकों को सुरक्षित रखने की कोशिश भी जारी है। इसके लिए 35 विधायकों को हैदराबाद भेजा गया है। 10 दिन के अंदर चंपई सोरेन को बहुमत साबित करना है।

दूसरी ओर झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन (Hemant Soren) को सुप्रीम कोर्ट से राहत नहीं मिली है। कोर्ट ने सोरेन से कहा है कि वह पहले हाईकोर्ट जाएं। जमीन घोटाला केस में सोरेन को ईडी ने बुधवार को गिरफ्तार किया था। उन्होंने इसके खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका लगाई थी। हेमंत सोरेन ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका लगाकर ईडी द्वारा की गई गिरफ्तारी को चुनौती दी थी। CJI (Chief Justice of India) डीवाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली तीन जस्टिस की विशेष पीठ ने मामले की सुनवाई की। पीठ में जस्टिस संजीव खन्ना, जस्टिस एमएम सुंदरेश और जस्टिस बेला एम त्रिवेदी शामिल थे।

सुप्रीम कोर्ट ने पूछा- पहले हाईकोर्ट क्यों नहीं गए?
बेंच ने पूछा कि हाईकोर्ट में पहले याचिका क्यों नहीं लगाई गई? अदालतें सभी के लिए हैं। हाईकोर्ट संवैधानिक अदालतें हैं। यदि हम एक व्यक्ति को अनुमति देते हैं, तो हमें सभी को अनुमति देनी होगी। सभी लोग सीधे सुप्रीम कोर्ट चले आएंगे"

हेमंत सोरेन की ओर से पेश हुए सीनियर वकील कपिल सिब्बल ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के पास विवेकाधीन शक्तियां हैं। "यह एक ऐसा मामला है जहां विवेक का प्रयोग किया जाना है।" जवाब में जस्टिस खन्ना ने कहा, "यह स्पष्ट है कि उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया है और आप संशोधन की मांग कर रहे हैं। इसलिए, हाईकोर्ट का रुख करें।"

पीठ ने पिछले साल सितंबर में पहले के आदेश का हवाला दिया। इसमें सोरेन को भूमि धोखाधड़ी मामले से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में ईडी के समन पर झारखंड हाईकोर्ट जाने के लिए कहा गया था।

चंपई सोरेन को 10 दिन में साबित करना है बहुमत

हेमंत सोरेन को गुरुवार को रांची के PMLA कोर्ट में पेश किया गया। कोर्ट ने उन्हें एक दिन की न्यायिक हिरासत में भेजा था। ईडी ने कोर्ट से हेमंत सोरेन की सात से आठ दिन की हिरासत मांगी थी। शुक्रवार को कोर्ट ने हेमंत सोरेन को पांच दिन की ईडी की हिरासत में भेजा।

इस बीच चंपई सोरेन ने सीएम पद की शपथ ले ली है। झारखंड के राज्यपाल सीपी राधाकृष्णन ने गुरुवार को उन्हें मनोनीत मुख्यमंत्री नियुक्त कर और शपथ लेने के लिए आमंत्रित किया था। राज्यपाल ने चंपई को 10 दिनों में बहुमत साबित करने को कहा है। चंपई सोरेन के साथ कांग्रेस विधायक दल के नेता आलमगीर आलम और राजद विधायक सत्यानंद भोक्ता ने भी शपथ ली। 

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यह है झारखंड में सत्ता का अंकगणित

झारखंड विधानसभा में विधायकों की संख्या 81 है। यहां बहुमत का आंकड़ा 41 है। जेएमएम, कांग्रेस और राजद के गठबंधन के विधायकों की कुल संख्या 47 है। इस तरह गठबंधन के पास स्पष्ट बहुमत है। भाजपा के पास 25 और AJSU (All Jharkhand Students Union) पार्टी के पास तीन विधायक हैं। NCP के पास एक और वामपंथी पार्टी के पास एक विधायक है। तीन विधायक निर्दलीय हैं।

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