कोटपुतली. राजस्थान के कोटपुतली में सोमवार को हुए हादसे में साढ़े तीन साल की बच्ची चेतना 700 फीट गहरे बोरवेल में गिर गई। घटना के 19 घंटे बीतने के बाद भी बच्ची को बाहर नहीं निकाला जा सका है। चेतना सोमवार दोपहर करीब 2 बजे खेलते समय बोरवेल में गिरी थी। प्रशासन और बचाव टीमों का रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है।
बोरवेल में डाले गए कैमरे में चेतना का मूवमेंट कैप्चर हुआ है। डॉक्टरों के मुताबिक, चेतना का सिर नीचे की ओर है, लेकिन वह दीवारों को पकड़कर स्थिर है। हालांकि, कैमरे में तकनीकी दिक्कतों के कारण बचाव कार्य में बाधा आ रही है। मौके पर ऑक्सीजन की कोई कमी नहीं है, और टीम ने बच्ची तक ऑक्सीजन पहुंचाई है।
बचाव टीम ने बच्ची को बाहर निकालने के लिए रिंग और अंब्रेला तकनीक का सहारा लिया, लेकिन कपड़ों में रिंग फंस जाने के कारण यह प्रयास असफल रहा। एनडीआरएफ के सीनियर कमांडेंट योगेश मीणा ने बताया कि इस तकनीक का इस्तेमाल पहले दौसा में सफलतापूर्वक किया गया था, लेकिन यहां गीली मिट्टी के कारण सावधानी बरतनी पड़ रही है।
एसडीआरएफ और मेडिकल टीम मौके पर डटी हुई हैं। डॉक्टरों ने कहा कि बच्ची का स्वास्थ्य अभी स्थिर है और उसे जल्द ही सुरक्षित बाहर निकालने का प्रयास किया जा रहा है।
एसडीआरएफ के पहुंचने से पहले 4 जेसीबी मशीनों ने खुदाई शुरू कर दी। इसका उद्देश्य बचाव कार्य को गति देना है। प्रशासन ने पूरी रात राहत और बचाव कार्य जारी रखा। चेतना के माता-पिता बोरवेल के पास ही बैठे हैं। वे ठंड में रातभर जागते रहे और बार-बार यही कह रहे हैं, "मेरी बेटी को जल्दी से बाहर निकालो।" पूरा क्षेत्र बच्ची की सुरक्षित वापसी की दुआ कर रहा है। रेस्क्यू टीम ने उम्मीद जताई है कि बच्ची को जल्द ही सुरक्षित बाहर निकाल लिया जाएगा।
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