माघ मेले को मिनी कुम्भ की तर्ज पर मनाएगी योगी सरकार, 200 करोड़ से चमकेगी गंगा की पावन नगरी

आने वाले नए साल की शुरुआत से ही प्रयागराज में सरकार माघ मेले को मिनी कुम्भ की तर्ज पर आयोजित करने जा रही है। इसके लिए गंगा की पावन नगरी को चमकाने का काम शुरू हो गया है

लखनऊ(Uttar Pradesh ). साल के शुरुआत में योगी सरकार द्वारा किए गए दिव्य कुम्भ के सफल आयोजन के बाद सरकार फिर से एक बड़ा आयोजन करने जा रही है। आने वाले नए साल की शुरुआत से ही प्रयागराज में सरकार माघ मेले को मिनी कुम्भ की तर्ज पर आयोजित करने जा रही है। इसके लिए गंगा की पावन नगरी को चमकाने का काम शुरू हो गया है। नए साल में 10 जनवरी से कुम्भ की शुरुआत हो जाएगी। यह मिनी कुम्भ फरवरी के अंतिम सप्ताह तक चलेगा । 

साल 2019 में योगी सरकार ने प्रयागराज में दिव्य कुम्भ का आयोजन किया था। इस कुम्भ को विश्व स्तर पर सराहा गया था। कुम्भ की भव्यता की तारीफ़ विश्व पटल पर हुई थी। इस सफल आयोजन से गदगद योगी सरकार अब नए साल 2020 की शुरुआत में प्रयागराज में गंगा किनारे होने वाले माघ मेले को भव्य स्वरूप देने जा रही है। इसे मिनी कुम्भ की तर्ज पर आयोजित किया जाएगा। 

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200 करोड़ रूपए आयोजन में होंगे खर्च 
माघ मेले की तैयारियां शुरू कर दी गई हैैं। इसके लिए लगभग 200 करोड़ रुपये के कार्यों का प्रस्ताव हुआ है। फिलहाल प्रथम चरण के लिए 100 करोड़ रुपये का एस्टीमेट विभिन्न विभागों की ओर से शासन भेजा गया है। जिसमें से प्रदेश सरकार 57 करोड़ रुपये की मंजूरी दे भी चुकी है।

इन तारीखों को होंगे प्रमुख स्नान 
माघ मेले की शुरुआत 10 जनवरी को पौष पूर्णिमा से होगी। जिसके बाद  15 जनवरी को मकर संक्रांति, 24 जनवरी को मौनी अमावस्या,30 जनवरी को बसंत पंचमी, 09 फरवरी को माघी पूर्णिमा व 21 फरवरी को महाशिवरात्रि है। इन सभी तिथियों को विशेष स्नान होगा और श्रद्धालुओं की भारी भीड़ होगी। 

16 से अधिक एलईडी लाइटों से जगमाएगा गंगा का किनारा 
माघमेला के लिए बिजली विभाग लगभग 75 करोड़ रुपये के कार्य कराएगा। बिजली विभाग के अफसरों के मुताबिक़ इसके लिए 16200 एलईडी फिटिंग, 15000 विद्युत पोल लगाए जाएंगे।  23 अस्थायी विद्युत उपकेंद्र स्थापित होगी जिससे माघमेले में विद्युत् सप्लाई दी जाएगी। मेला क्षेत्र में 100 केवीए के 45 तथा 400 केवीए के 50 ट्रांसफार्मर भी होंगे। 

लोगों की सुविधा के लिए ये होंगे खास कार्य 
माघ मेला में भीड़ प्रबंधन के लिए विशेष यातायात प्लान बनाया जा रहा है ताकि जाम की समस्या से निजात मिल सके और भीड़ पर कंट्रोल रखा जा सके। इसके आलावा कुंभ की तरह ही पॉर्किंग की भी होगी व्यवस्था होगी। कुंभ मेले की तर्ज पर शहर के बाहर हैलीपैड बनाए जाएंगे। माघमेला क्षेत्र के लिए शटल बसें संचालित की जाएंगी। सुरक्षा की दृष्टि से सीसीटीवी कैमरों का भी उपयोग होगा। 

दो हजार बीघे में बसेगी टेंट सिटी 
माघ मेला प्रभारी रजनीश कुमार मिश्र ने बताया कि माघ मेले की तैयारियां युद्ध स्तर पर चल रही हैैं। 20 दिसंबर तक मेला बसाने का लक्ष्य रखा गया है। सभी विभागों के अफसरों आवश्यक निर्देश दे दिए गए हैं । वर्ष 2017 में माघ मेले का क्षेत्रफल 1432 बीघे था जो वर्ष 2018 में 1797 बीघे हो गया। इस बार उसे बढ़ाकर दो हजार बीघे का कर दिया गया है। स्नान घाट का क्षेत्रफल भी बढ़ाया गया है। लगभग पांच किमी रनिंग एरिया में स्नान घाट बनाए जाएंगे।

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