
Bangladesh Interim Govt Chief: नोबेल शांति पुरस्कार विजेता मुहम्मद यूनुस ने सोमवार को बांग्लादेश के आंदोलनकारी स्टूडेंट्स से मुलाकात की है। अंतरिम सरकार के प्रमुख के रूप में शपथ लेने के बाद छात्रनेताओं से मुलाकात के दौरान मुहम्मद यूनुस ने उनकी प्रशंसा करते हुए कहा कि इसमें कोई संदेह नहीं है कि छात्रों के नेतृत्व वाली क्रांति के कारण ही पूरी सरकार गिरी है। देश को दूसरी आजादी मिली है।
छात्रों से मुलाकात कर देश की स्थितियों पर विधिवत चर्चा अंतरिम प्रमुख ने किया। अंतरिम सरकार में छात्रों का भी प्रतिनिधित्व है। इसमें प्रदर्शनकारी दो छात्र नाहिद इस्लाम और आसिफ महमूद भी शामिल हें। मुहम्मद यूनुस के नेतृत्व में 16 सदस्यीय सलाहकार परिषद का गठन किया गया है। 84 वर्षीय यूनुस ने माइक्रोफाइनेंस में अपने काम और सामुदायिक विकास के लिए काम करने वाले ग्रामीण बैंक की स्थापना के लिए 2006 का नोबेल शांति पुरस्कार जीता था।
छात्रों के आंदोलन को सराहा
अंतरिम सरकार के प्रमुख मुहम्मद यूनुस ने छात्रों से कहा: मैं आपका सम्मान करता हूं। आपने जो किया है वह बिल्कुल बेमिसाल है। आपने मुझे अंतरिम प्रशासन का प्रभार संभालने का आदेश दिया है इसलिए मैं इसे स्वीकार किया हूं। उन्होंने सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस पर इस्तीफा के लिए छात्रों के घेराव को भी सही ठहराते हुए कहा कि वे नई अदालत चाहते थे। इसलिए छात्र वहां गए और मुख्य न्यायाधीश को इस्तीफा के लिए कहा।
हसीना सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शनों में 450 से अधिक मारे गए
शेख हसीना सरकार के खिलाफ देशभर में हुए विरोध प्रदर्शनों में 450 से अधिक लोग मारे जा चुके हैं। मरने वालों में दर्जनों पुलिस अधिकारी भी शामिल हैं। कोटा आंदोलन और बाद में हसीना सरकार के खिलाफ हुए आंदोलन के हिंसात्मक होने के बाद बढ़े दबाव में शेख हसीना को प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा देना पड़ा था। आंदोलनकारियों के प्रधानमंत्री आवास पर धावा बोलने के बाद शेख हसीना ने देश छोड़ दिया था।
हसीना के देश छोड़ने के बाद आर्मी चीफ ने कमान संभालते हुए अंतरिम सरकार बनाने का ऐलान किया। इसके बाद नोबेल शांति पुरस्कार विजेता मुहम्मद यूनुस को अंतरिम सरकार का प्रमुख बनाया गया। देश की अंतरिम सरकार के नए प्रमुख मुहम्मद यूनुस ने शपथ लेने के बाद शांति की अपील की है। हालांकि, अभी भी बांग्लादेश की स्थितियां पटरी पर नहीं आ सकी हैं। देश की पुलिस अपनी सुरक्षा सुनिश्चित होने तक अनिश्चितकालीन हड़ताल शुरू कर दी है।
शेख हसीना नई दिल्ली में शरण ली हैं लेकिन अभी वह कहां जाएंगी यह साफ नहीं है। वहां अल्पसंख्यक हिंदू समुदाय के साथ हिंसा भी बड़ा इशू बना हुआ है। हालांकि, मुहम्मद यूनुस ने धार्मिक एकता की अपील की है लेकिन स्थितियां शांत होने में समय लग सकती है।
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