आज पृथ्वी से टकराएगा सूर्य से उठा भूचुंबकीय तूफान, दुनिया के कुछ हिस्सों में रेडियो ब्लैकआउट की संभावना

सूर्य से उठा भूचुंबकीय तूफान (Geomagnetic storm) आज पृथ्वी से टकराएगा। इसके कारण दुनिया के कुछ हिस्सों में रेडियो ब्लैकआउट हो सकता है। वहीं, 15 अप्रैल को भी माइनर जियोमैग्नेटिक स्टॉर्म आने की संभावना जताई गई है।

Asianet News Hindi | Published : Apr 14, 2022 11:04 AM IST

वाशिंगटन। सूर्य (Sun) से उठा भूचुंबकीय तूफान (Geomagnetic storm) आज पृथ्वी से टकराएगा। इसके चलते दुनिया के कुछ हिस्सों में रेडियो ब्लैकआउट होने की संभावना है। प्लाज्मा का भारी उछाल 16,13,520 किलोमीटर प्रति घंटे की चौंका देने वाली गति से पृथ्वी की ओर आ रहा है।

अमेरिका स्थित स्पेस वेदर प्रेडिक्शन सेंटर ( SWPC) के अनुसार सौर चमक 14 अप्रैल को जीएस श्रेणी के भू-चुंबकीय तूफान की ओर ले जाएगी, जिससे रेडियो ब्लैकआउट हो सकता है। भू-चुंबकीय तूफान के चलते पृथ्वी के मैग्नेटोस्फीयर में बड़ी गड़बड़ी हो सकती है। यहां सौर हवा से पृथ्वी के आसपास के अंतरिक्ष वातावरण में ऊर्जा का एक बहुत ही कुशल आदान-प्रदान होता है।

प्रभाव 15 अप्रैल को भी जारी रहने की संभावना है। अमेरिकी केंद्र ने ग्रह के चारों ओर एक मामूली भू-चुंबकीय तूफान की भविष्यवाणी की है। इसके चलते कमजोर बिजली ग्रिड में कुछ परेशानी आ सकती है। SWPC ने अपने अलर्ट में कहा, "14 अप्रैल 2022 के लिए एक जियोमैग्नेटिक स्टॉर्म वॉच जारी की गई है। 15 अप्रैल 2022 के लिए G1 (माइनर) जियोमैग्नेटिक स्टॉर्म वॉच जारी की गई है।"

सूर्य पर जारी है अधिक गतिविधि 
सूर्य 11वें सौर चक्र में अपना जीवन शुरू करते ही अपनी गतिविधि तेज कर रहा है। तारे का पृथ्वी की ओर वाला भाग अपेक्षाकृत शांत है, वहीं दूर की ओर गतिविधि का एक नया उछाल देखा जा रहा है। Spaceweather.com के अनुसार, इस सप्ताह तीसरी बार SOHO ने कोरोनल मास इजेक्शन का पता लगाया है।

यह भी पढ़ें- ऐसा दिखता है भारत का अनूठा प्रधानमंत्री म्यूजियम, PM मोदी ने एक-एक चीज ध्यान से देखी, आप भी देखें खास Pics

बुधवार को बुध से टकराने वाले सौर ज्वाला से एक बड़े तूफानी बादल को अंतरिक्ष में फेंक दिया गया था। अगर पृथ्वी आग की रेखा में होती तो एक मजबूत भू-चुंबकीय तूफान आता। यह इसके बजाय बुध सीधा प्रहार करेगा। स्पेसवेदर डॉट कॉम ने बताया कि बुध से टकराने वाले सीएमई चट्टानी ग्रह की सतह से सामग्री को हटा सकते हैं, इसकी धूमकेतु जैसी पूंछ में सामग्री जोड़ सकते हैं। सूर्य पर नजर रखने वाले खगोलविदों का मानना है कि सूर्य के दूर की ओर तीव्र चुंबकत्व का एक बड़ा क्षेत्र है। शायद एक जटिल सनस्पॉट समूह है। यह अब से एक हफ्ते से भी कम समय में सूर्य के पूर्वी हिस्से में घूमेगा।

यह भी पढ़ें- Modern Slavery : भारत में 80 लाख लोग आधुनिक गुलामी में जी रहे, यह संख्या दुनियाभर में सबसे बड़ा आंकड़ा

Share this article
click me!

Latest Videos

केदारनाथ हाईवे पर सुरंग में भू्स्खलन, उत्तराखंड में आफत बनी बारिश
PM Modi LIVE: विश्व टी-20 चैंपियन भारतीय क्रिकेट टीम के साथ बातचीत
हाथरस हादसा: बाबा नारायण हरि पर क्यों खामोश हैं नेता...सरकार और विपक्ष दोनों मौन?
हाथरस हादसा: चढ़ावा ना लेने वाला नारायण साकार कैसे बना करोड़ों का मालिक
Assam Flood: असम में बाढ़ ने मचाई तबाही...52 लोगों की मौत, 21 लाख से ज्यादा प्रभावित