सार
फोर्ड ने भारत में अपने दोनों मैन्युफैक्चरिंग प्लांट्स में प्रोडक्शन बंद करने का बड़ा फैसला लिया है। दोनों प्लांट में करीब 2.5 बिलियन अमेरिकी डॉलर का इंवेस्टमेंट किया है। फोर्ड मोटर (Ford motor) भारत मेंअब सिर्फ इम्पोर्टेड की हुई गाड़ियों की सेल करेगी ।
ऑटो डेस्क । अमेरिका की व्हीकल प्रोडक्शन में महारत रखन वाली Ford कंपनी भारत से अपना बोरिया बिस्तर समेट रही है। फोर्ड को भारतीय बाजार में नुकसान उठाना पड़ रहा है। फोर्ड ने भारत में अपने दोनों मैन्युफैक्चरिंग प्लांट्स में प्रोडक्शन बंद करने का बड़ा फैसला लिया है। बता दें कि फोर्ड ने भारतीय बाजार में बीते लंबे समय कोई नया मॉडल लॉन्च नहीं किया है। फोर्ड अंग्रेजी हुकूमत के दौरान भारत में व्यापार करने आई थी। ये कंपनी दो विश्वयुद्ध के दौरान भी भारत में डटी रही, लेकिन अब घाटा बढ़ने पर फोर्ड भारत से वापसी का प्लान बना रही है।
चेन्नई (तमिलनाडु) और साणंद (गुजरात) में हैं दो बड़े प्लांट
फोर्ड मोटर (Ford motor) भारत में अपने दोनों मैनुफैक्चरिंग प्लांट को बंद करने के बाद अब सिर्फ इम्पोर्टेड की हुई गाड़ियों की सेल करेगी । बता दें कि फोर्ड कंपनी की चेन्नई (तमिलनाडु) और साणंद (गुजरात) में दो बड़े प्लांट हैं और यहां वह इको स्पोर्ट, फिगो और एस्पायर जैसी कारें बनाती है।
फोर्ड मोटर ने किया था भारी-भरकम इंवेस्टमेंट
फोर्ड मोटर (Ford motor) कंपनी ने भारत के चेन्नई (तमिलनाडु) और साणंद (गुजरात) दोनों प्लांट में करीब 2.5 बिलियन अमेरिकी डॉलर का इंवेस्टमेंट किया है। फोर्ड इंडिया के इन दोनों प्लांटो में इंजन और कार मैन्यूफैक्चरिंग का कार्य कर रही थी, फिगो, एस्पायर और इकोस्पोर्ट जैसे मॉडल भारत में बनाकर पूरी दुनिया में एक्सपोर्ट किए हैं।
महिंद्रा एंड महिंद्रा संभालेगी कमान
फोर्ड ने भारत में प्लांट बंद करने का बीते साल ही मन बना लिया था । जनवरी 2021 में, फोर्ड मोटर कंपनी और महिंद्रा एंड महिंद्रा ने अपने पहले अनाउंस किए गए ऑटोमोटिव ज्वाइंट वेंचर को खत्म करने का फैसला भी किया था, दोनों कंपनियों ने भारत में फ्री ऑपरेशन जारी रखने का फैसला भी किया था। अक्टूबर 2019 में, दोनों कंपनियों ने एक एग्रीमेंट का ऐलान किया था। समझौते के मुताबिक महिंद्रा एंड महिंद्रा फोर्ड मोटर कंपनी (FMC) की फोर्ड के आधिपत्य ब्रांच में अधिकतर हिस्सेदारी हासिल कर लेगी, जो भारत में फोर्ड के ऑटोमोटिव व्यवसाय की कमान संभालेगी।