सार
यह विधेयक बांग्लादेश, अफगानिस्तान और पाकिस्तान के 6 अल्पसंख्यक समुदायों (हिंदू, बौद्ध, जैन, पारसी, ईसाई और सिख) से जुड़ा है। इसके मुताबिक इन 3 देशों से आने वाले शरणार्थी अगर 6 (हिंदू, बौद्ध, जैन, पारसी, ईसाई और सिख) धर्मों के हैं तो उन्हें भारत की नागरिकता दी जाएगी।
मुंबई। सोमवार को गृह मंत्री अमित शाह ने लोकसभा में नागरिकता संशोधन बिल पेश किया। इस बिल के समर्थन में जहां 293 मत पड़े तो वहीं इसके विरोध में 82 वोट पड़े। बिल के सपोर्ट में मिले वोट देखकर बॉलीवुड एक्ट्रेस स्वरा भास्कर ने ट्वीट किया। अपने ट्वीट में उन्होंने लिखा- शर्म आती है। स्वरा को बिल का विरोध करते देख सोशल मीडिया यूजर्स भड़क उठे और उन्होंने एक्ट्रेस को जमकर लताड़ लगाई। एक शख्स ने लिखा- 'तुम्हें शर्म आती है पर काश तुम्हें थोड़ी सी भी होती।'
- वहीं सुरेश पांडे नाम के एक अन्य यूजर ने लिखा- शर्म आ रही है तो भारत की नागरिकता छोड़ कहीं भी जा सकती हैं।
आखिर क्या है इस बिल में :
यह विधेयक बांग्लादेश, अफगानिस्तान और पाकिस्तान के 6 अल्पसंख्यक समुदायों (हिंदू, बौद्ध, जैन, पारसी, ईसाई और सिख) से जुड़ा है। इसके मुताबिक इन 3 देशों से आने वाले शरणार्थी अगर 6 (हिंदू, बौद्ध, जैन, पारसी, ईसाई और सिख) धर्मों के हैं तो उन्हें भारत की नागरिकता दी जाएगी। संशोधित विधेयक में अफगानिस्तान, बांग्लादेश और पाकिस्तान के अल्पसंख्यक शरणार्थियों को नागरिकता मिलने की समयावधि घटाकर 11 साल से 6 साल की गई है। साथ ही 31 दिसंबर 2014 तक या उससे पहले आए गैर-मुस्लिमों को नागरिकता के लिए पात्र होंगे।