सार

आरबीआई (RBI) द्वारा अपनी हालिया मौद्रिक नीति बैठक (MPC Meet) में पॉलिसी रेट्स में बदलाव नहीं किया। उसके बाद भी बैंक एफडी रेट (Bank FD Rates) बढ़ा रहे हैं। इसके पीछे सबसे बड़ा कारण देश में बढ़ रही महंगाई है।

बिजनेस डेस्‍क। भारतीय स्टेट बैंक (SBI) और एचडीएफसी बैंक (HDFC Bank) और भी बैंकों ने अपनी फि‍क्‍स्‍ड डिपॉजिट की ब्‍याज दर (Fixed Deposit Interest Rate)  में इजाफा किया है। ताज्‍जुब की बात यह है कि आरबीआई (RBI) द्वारा अपनी हालिया मौद्रिक नीति बैठक (MPC Meet) में पॉलिसी रेट्स में बदलाव नहीं किया। उसके बाद भी बैंक एफडी रेट बढ़ा रहे हैं। इसके पीछे सबसे बड़ा कारण देश में बढ़ रही महंगाई है। जब देश में महंगाई (Inflation Rates) ऊपर की ओर यानी हाई ट्रैजेक्‍टरी की ओर होती है तो बैंक अपने कस्‍टमर्स को महंगाई से राहत देने के लिए ब्‍याज दरों में इजाफा करते हैं। आइए आपको भी बताते हैं कि आख‍िर इस बारे में एक्‍सपर्ट क्‍या कहते हैं।

एसबीआई ने किया कितना इजाफा
SBI ने 2 साल से ऊपर की अवधि के लिए एफडी रेट में बढ़ोतरी की है। 2-3 साल की अवधि के लिए एफडी रेट को 5.10 फीसदी से बढ़ाकर 5.20 फीसदी कर दिया गया है। इस बीच, 2-5 साल की सावधि जमा अवधि पर दरों को 15 आधार अंकों से बढ़ाकर 5.45% कर दिया गया है। 5-10 साल की अवधि वाली एफडी रेट को 5.50 फीसदी किया गया है। रिवाइज्‍ड दरें 15 फरवरी से लागू हो चुकी हैं।

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एचडीएफसी बैंक ने की कितनी बढ़ोतरी
एचडीएफसी बैंक ने एक साल की अवधि की फ‍िक्‍स्‍ड डिपॉजिट पर ब्याज दर 10 बेसिस प्‍वाइंट्स बढ़ाकर 5 फीसदी कर दी है। जबकि 3 से 5 साल की अवधि के साथ डिपॉजिट पर रेट को बढ़ाकर 5.45 फीसदी कर दिया गया है। एफडी की रिवाइज्‍ड रेट 14 फरवरी से लागू हैं।

यूको और सेंट्रल बैंक ने भी किया है इजाफा
यूको बैंक और सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया ने भी आरबीआई एमपीसी द्वारा रेपो और रिवर्स रेपो दरों को अपरिवर्तित रखने की घोषणा के तुरंत बाद एफडी पर ब्याज दरों में संशोधन किया। ये संशोधित दरें 10 फरवरी से लागू हो गई हैं।

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तो बैंक क्यों बढ़ा रहे हैं FD की ब्याज दरें?
विशेषज्ञों के अनुसार, बैंकों ने एफडी दरों में बढ़ोतरी की घोषणा की है क्योंकि भारत में इंफ्लेशन रेट हाई ट्रैजेक्‍टरी पर है। ब्‍याज दरों को प्रभावित करने में महंगाई प्रमुख कारणों में से एक है। महंगाई की दर जितनी ज्‍यादा होगी, ब्याज दरों में उतनी ही अधिक वृद्धि होने की संभावना है। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि लेंडर भविष्य में भुगतान किए गए धन की क्रय शक्ति में कमी के मुआवजे के रूप में हाई दरों की मांग करेंगे। लाइव मिंट से बात करते हुए जीसीएल सिक्योरिटीज के रवि सिंघल ने कहा कि भारत में इंफ्लेशन रेट लगातार ऊपर की ओर जा रहा है, इसलिए अधिकांश बैंक कंज्‍यूमर को भविष्य में होने वाली महंगाई से बचाने के लिए एफडी दरों में इजाफा कर रहे हैं।