सार

बांगड़ ने कहा, 'रोहित अगर अपने अंदाज में खेलना जारी रखेंगे तो वह सफल हो सकते हैं। उन्हें अपना तरीका बरकरार रखना होगा।'

नई दिल्ली. भारतीय टीम के पूर्व सहायक कोच संजय बांगड़ ने कहा कि रोहित शर्मा को टेस्ट में सलामी बल्लेबाज के तौर पर अपने अंदाज में खेलना जारी रखना चाहिए और लंबे प्रारूप में उनकी सफलता भारत को बड़े लक्ष्यों का पीछा करने में मदद कर सकती है।

15 सदस्यीय टीम में मिला है मौका 

सीमित ओवरों के क्रिकेट में सलामी बल्लेबाज के तौर पर सफल रोहित को दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ दो अक्टूबर से शुरू हो रही तीन मैचों की टेस्ट श्रृंखला के लिए चुनी गई 15 सदस्यीय टीम में मौका दिया गया है। एक दिवसीय में तीन दोहरे शतक और टी-20 अंतर्राष्ट्रीय में चार शतक लगाने वाले रोहित को टीम में लोकेश, राहुल की जगह चुना गया है। राहुल को वेस्टइंडीज दौरे पर खराब प्रदर्शन के कारण टीम से बाहर कर दिया गया।

रोहित के खेलने के तरीके से टीम को काफी फायदा होगा

बांगड़ ने ईएसपीनक्रिकइंफो को दिए इंटरव्यू में कहा, 'अगर वह सफल हुए तो उनके खेलने के तरीके से टीम को काफी फायदा होगा। इससे भारतीय टीम सफलता पूर्वक लक्ष्य का पीछा कर सकती है जिसे करने में हम पहले असफल रहते थे जैसा कि केपटाउन और एजबेस्टन टेस्ट में हुआ था।' बत्तीस साल के रोहित ने 27 टेस्ट में 39.62 की औसत से 1585 रन बनाए हैं जिसमें तीन शतक और 10 अर्धशतक शामिल हैं। टेस्ट में हालांकि रोहित को मध्यक्रम के बल्लेबाज के तौर पर देखा जा रहा था लेकिन छठे नंबर पर हनुमा बिहारी ने शानदार प्रदर्शन कर अपनी जगह पक्की कर ली जिससे रोहित को टेस्ट में सलामी बल्लेबाजी के तौर पर टीम में जगह बनानी होगी।

रोहित अपने अंदाज में खेलेंगे तो सफल होंगे: बांगड़

बांगड़ ने कहा, 'रोहित अगर अपने अंदाज में खेलना जारी रखेंगे तो वह सफल हो सकते हैं। उन्हें अपना तरीका बरकरार रखना होगा।' टीम के पूर्व बल्लेबाजी कोच ने कहा, 'इस समय टीम के मध्यक्रम में कोई जगह नहीं है। पारी शुरू करना उसके लिए नई चुनौती होगी क्योंकि लंबे प्रारूप के खेल में उन्होंने ऐसा बहुत कम किया है।' उन्होंने कहा, 'हालांकि उन्हें  इसका फायदा भी मिलेगा क्योंकि वह नई गेंद के सामने बल्लेबाजी करेंगे और मैदान में काफी गैप मौजूद होगा। उन्हें ड्रेसिंग रूम में अपनी बारी का इंतजार नहीं करना होगा जो उनकी मानसिक ऊर्जा को बचाएगा।' टीम के साथ बांगड़ का 5 साल का कार्यकाल पिछले महीने खत्म हुआ था जब उनकी जगह विक्रम राठौर को भारत का बल्लेबाजी कोच नियुक्त किया गया।