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कोरोनावायरस: 26 मार्च को दुल्हन बनने वाली थीं यह डिप्टी कलेक्टर, लेकिन बदल लिया फैसला
| Published : Mar 24 2020, 11:44 AM IST / Updated: Mar 24 2020, 12:05 PM IST
कोरोनावायरस: 26 मार्च को दुल्हन बनने वाली थीं यह डिप्टी कलेक्टर, लेकिन बदल लिया फैसला
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2017 बैच की डिप्टी कलेक्टर शीतल बंसल अभी रायपुर जिले की अभनपुर जनपद पंचायत में CEO हैं। इनका रिश्ता भारतीय वन सेवा के अधिकारी आयुष जैन से तय हुआ है। शीतल के बड़े भाई श्रवण बंसल और भाभी प्रतिमा बंसल इंडियन रेवेन्यू सर्विसेज़ के अधिकारी हैं। एक अन्य बड़े भाई आईपीएस त्रिलोक बंसल छत्तीसगढ़ की राज्यपाल के एडीसी के तौर पर पदस्थ हैं। शीतल ने कहा कि शादी से ज्यादा जरूरी अभी कोरोना वायरस से जंग है।
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यह तस्वीर मुंबई के माहिम स्थित माइकल चर्च की है। लॉक डाउन के बाद भी लोग घरों से निकलना नहीं छोड़ रहे।
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यह तस्वीर भी पिछले दिनों मुंबई के एक मछली मार्केट में खींची गई थी। ऐसी गलतियां मानव जाति के लिए खतरा हैं।
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यह तस्वीर भी पिछले दिनों मुंबई में खींची गई थी। ऐसी गलतियां किसी एक को नहीं, सारी मानव जाति को खतरे में डाल सकती हैं। जिंदगी कोई खेल नहीं। बेहतर है, लॉक डाउन का पालन करें। जब तक खतरा नहीं टल जाता..घरों में रहें...सुरक्षित रहें।
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यह तस्वीर असाम के गुवाहाटी रेलवे स्टेशन की है। यहां पहुंचे यात्रियों का चेकअप करती डॉक्टरों की टीम। यह जरूरी है कि आप खुद अपना चेकअप कराएं। भागकर आप अपनी और दूसरों की जिंदगी खतरे में डाल सकते हैं।
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यह तस्वीर जयपुर की है। यह जो सन्नाटा है..यही आगे जिंदगी को बचाएगा। जितना लॉक डाउन का पालन करेंगे..उतना कोरोनावायरस को जिंदगी से दूर भगाएंगे।
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यह तस्वीर जयपुर की है। लॉक डाउन का मतलब यह नहीं कि आप घर में बैठकर सारी दुनिया से कट जाएं। लोगों से दूरियां रखें, लेकिन उन लोगों के खाने-पीने में भी मदद करें, जो गरीब हैं..असहाय हैं..बेसहारा हैं।
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यह तस्वीर भुवेश्वर की है। जब तक आवश्यक न हो..अगले आदेश तक घर से न निकलें। अगर निकलना पड़े, तो मास्क लगाएं। अच्छे से दिन में कई बार हाथ धोयें। भीड़ न बढ़ाएं।
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यह तस्वीर भुवनेश्वर की है। कोरोनावायरस अमीर-गरीब किसी में फर्क नहीं करता। लेकिन जो लोग सक्षम हैं, वे गरीबों का ध्यान रखें। जिनकी रोजी-रोटी रोज काम करने से चलती हैं, वे भूखे न रहें। उन्हें मदद करना मानवता की निशानी है।
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यह तस्वीर गुवाहाटी की है। जब तक अति आवश्यक न हो...यात्रा टालें। लेकिन कहीं कोई फंस जाए..तो उसकी मदद करें।
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यह तस्वीर दिल्ली की है। यही शांति..आगे जिंदगी में कोरोनावायरस से सुकून लाएगी। लॉकडाउन को अपना फर्ज समझें। अनावश्यक घर से न निकलें। कोरोना को हराना है..तो घर में रहें।
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यह तस्वीर नागपुर की है। मंदिरों में पसरा सन्नाटा..यह अच्छी पहल की निशानी है कि लोग लॉक डाउन का महत्व समझ रहे हैं। पूजा-पाठ करने तो सारी जिंदगी पड़ी है। अभी जद्दोजहद जिंदगी बचाने की है।
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सलाम इन यौद्धाओं को, जो हमारी जिंदगी बचाने दिनरात अपनी ड्यूटी कर रहे हैं। यह तस्वीर नागपुर की है। इनकी ड्यूटी को सफल बनाएं.. लॉक डाउन का पालन करें।
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यह तस्वीर नागपुर की है। एक मां का फर्ज क्या है? यह मासूम बच्चा भी कोरोनावायरस के संक्रमण का शिकार हो सकता है। मास्क उसके लिए भी जरूरी हैं। ऐसी गलती न दुहराएं।
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यह चौंकाने वाली तस्वीर पिछले दिनों नागपुर में खींची गई थी। ऐसी गलतियां सारी मानव जाति को खतरे में डाल सकती है।