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पशुपतिनाथ में लगेगा देश का सबसे बड़ा घंटा, जानिए कैसे हुआ तैयार, क्या है खासियत
मंदसौर ( Madhya Pradesh)। देश का सबसे बड़ा घंटा अब अष्टमुखी भगवान पशुपतिनाथ में लगाया जाएगा, जो अष्टधातु से दूबना 37 क्विंटल वजन का है। बताया जा रहा है कि यह दुनिया के हिंदू मंदिरों में लगा सबसे बड़ा घंटा भी बताया जा रहा है। जिसके बारे में हम आपको बता रहा रहे हैं। बता दें कि महा घंटा अभियान की शुरुआत 2015 में श्री कृष्ण कामधेनु संस्थान द्वारा की गई थी। जिसमें लोगों ने 4 हजार 300 किलो धातुएं दान दी थी।
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गुजरात के अहमदाबाद में इन धातुओं से महा घंटा बनाया गया, जिसका वजन 37 क्विंटल है। तीन साल में महा घंटे का निर्माण पूरा हुआ है। जिसे बनाने में 21 लाख 50 हजार रुपए की लागत आई है। इसमें 3 लाख 27 हजार रुपए जीएसटी टैक्स चुकाया गया।
महाघंटा को श्रद्धालुओं द्वारा दी गई धातुओं को गलाकर तैयार किया गया है। बताते हैं कि शुरुआत में महा घंटा 21 क्विंटल का बनाने का लक्ष्य रखा गया था, लेकिन लोगो की आस्था से दान दी गई धातुओं से महा घंटे का वजन 37 क्विंटल हो गया।
महा घंटे के ऊपरी सिरे पर भगवान पशुपतिनाथ के साथ बिल्व पत्र और त्रिशूल की नक्काशी की गई है। घंटे का दौलन ही 3 क्विंटल का है। यह महा घंटा भगवान पशुपतिनाथ मंदिर परिसर में लगाया जाएगा। महा घंटे के दौलन को इतना फ्री किया गया है कि कोई व्यक्ति इसे आसानी से बजा सकता है।
मंदसौर कलेक्टर ने ट्वीट कर इसे दुनिया का सबसे बड़ा घंटा बताया है। उन्होंने अपने ट्टीट में लिखा, "विश्व का एक मात्र तथा संसार का सबसे बड़ा और वजनी 3700 किलो का किलो का अष्टधातु से निर्मित महाघन्टा बसन्त पंचमी पर्व पर अष्टमुखी भगवान पशुपतिनाथ मंदिर मंदसौर के दरबार में लगा।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक दुनिया का सबसे बड़ा घंटा रूस के मास्को शहर में लगा है, जिसका वजन 2 लाख 1 हजार 924 किलोग्राम है। यह कांसे से बना है और क्रेमलिन वाल और द ग्रेट बेल टॉवर के बीच रखा हुआ है। इसका नाम Tsar Bell है।