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सुशांत का उसी दिन लेकिन दिशा का एक दिन बाद क्यों हुआ पोस्टमार्टम? ऐसे ही 7 बड़े सवालों के जवाब
नई दिल्ली. सुशांत सिंह राजपूत की मौत ने कई सवाल खड़े कर दिए हैं। पहले राजनीतिक पार्टियों ने इसपर बयान दिए। फिर मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंचा। महाराष्ट्र और बिहार सरकार आमने-सामने हैं। हालांकि मामला सीबीआई के पास है। ऐसे में सोशल मीडिया पर कई बड़े सवाल वायरल हो रहे हैं। ऐसे ही सात बड़े सवालों के जवाब जो सुशांत सिंह राजपूत और दिशा सालियन की मौत से जुड़े हैं। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, यह सवाल मुंबई पुलिस के जांच अधिकारियों से संपर्क करके पूछा गया है।
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सवाल - 1 दिशा सालियन का निधन 9 जून की सुबह 2 बजे हुआ। 11 जून को उनका पोस्टमार्टम क्यों किया गया?
जवाब- मामले की जांच कर रहे मुंबई पुलिस के अधिकारियों के अनुसार, पोस्टमार्टम से पहले कोविड -19 टेस्ट जरूरी था। दिशा के शव को तुरंत पोस्टमार्टम के लिए अस्पताल लाया गया। कोविड -19 टेस्ट किया गया था। रिपोर्ट 24 से 36 घंटे के बाद आती है। उस समय तक उनकी डेड बॉडी को मुर्दाघर में रखा गया था। कोविड -19 टेस्ट निगेटिव आने के बाद 11 जून को दिशा की डेड बॉडी का पोस्टमार्टम किया गया।
सवाल 2- दिशा सलियन के वैजाइनल स्वैब टेस्ट के लिए गए थे। उसका क्या हुआ?
जवाब- कलिना के एफएसएल (फोरेंसिक साइंस लैबोरेट्रीज) ऑफिस ने वैजाइनल स्वैब लिया था। मुंबई पुलिस को रिपोर्ट का इंतजार है। उन्होंने एफएसएल से जल्द रिपोर्ट देने को कहा है।
सवाल 3- सुशांत सिंह राजपूत का मौत 14 जून को हुई। उसी दिन पोस्टमार्टम क्यों किया गया?
जवाब- पुलिस अधिकारी पूछताछ के लिए हमारे पास आए और अनुरोध किया कि पोस्टमार्टम किया जाए, इसलिए उसी समय पोस्टमार्टम किया गया। ऐसा कोई नियम नहीं है कि रात में पोस्टमार्टम नहीं किया जा सकता है।
सवाल 4- क्या मजिस्ट्रेट ने सुशांत के पोस्टमार्टम को शाम के बाद करने के लिए परमीशन दिया?
जवाब- मजिस्ट्रेट की अनुमति केवल उन मामलों में आवश्यक है जो 176 सीआरपीसी के तहत हैं, जैसे हिरासत में मौत, दंगे, आदि। यह मामला 174 सीआरपीसी के तहत है, जहां पुलिस को पोस्टमार्टम की पावर है और पुलिस पूछताछ के अनुसार, पोस्टमार्टम किया जाता है। ।
सवाल 5- पोस्टमार्टम के दौरान सुशांत सिंह राजपूत के परिवार के कौन थे?
जवाब- हमें याद नहीं है कि पोस्टमार्टम के दौरान परिवार से कौन लोग मौजूद थे। पुलिस उसकी बहन के सिग्नेचर किए हुए बयान के साथ आई और पोस्टमार्टम का अनुरोध किया। बाद में सुशांत के बहनोई, एडीजी हरियाणा पुलिस और बहन पोस्टमार्टम केंद्र पर आए।
सवाल 6 - सुशांत की पोस्टमार्टम रिपोर्ट में लिगचर मार्क्स (ligature marks) था। तो फिर इसे घाव क्यों नहीं कहा गया?
जवाब- यदि आप पोस्टमार्टम रिपोर्ट के कॉलम 17 को पढ़ते हैं तो उसमें लिगचर मार्क्स का उल्लेख किया जाता है। इसके अलावा, कोई चोट नहीं आई।
सवाल 7- सुशांत की तरह अप्राकृतिक मौत के मामले में पोस्टमार्टम करने में 2-3 घंटे लगते हैं। 90 मिनट में उनका पोस्टमार्टम कैसे पूरा हुआ?
जवाब- एक सामान्य पोस्टमार्टम में न्यूनतम एक घंटे का समय लगता है, लेकिन इसकी कोई समय सीमा नहीं होती है। हमने डेढ़ घंटे में पोस्टमार्टम किया और शव की जांच के बाद विसरा सुरक्षित रखा।