MalayalamNewsableKannadaKannadaPrabhaTeluguTamilBanglaHindiMarathiMyNation
  • Facebook
  • Twitter
  • whatsapp
  • YT video
  • insta
  • ताज़ा खबर
  • राष्ट्रीय
  • वेब स्टोरी
  • राज्य
  • मनोरंजन
  • लाइफस्टाइल
  • बिज़नेस
  • सरकारी योजनाएं
  • खेल
  • धर्म
  • ज्योतिष
  • फोटो
  • Home
  • Sports
  • Other Sports
  • आंखों में रोशनी भले ही नहीं, ऑडियो को सुनकर ये लड़की बनी IAS अफसर..पढ़िए जुनून और जज्बे की कहानी

आंखों में रोशनी भले ही नहीं, ऑडियो को सुनकर ये लड़की बनी IAS अफसर..पढ़िए जुनून और जज्बे की कहानी

मदुरै (तमिलनाडु). कहते हैं अगर जोश, जुनून और जज्बा हो तो मंजिल तक पहुंचने में देर नहीं लगती। बस आपके इरादे मजबूत होना चाहिए, कुछ ऐसा ही  सच कर दिखाया है तमिलनाडु की पूर्णा सुंदरी ने। जिसने आंखों में रोशनी नहीं होने के बावजूद भी सिर्फ किताबों को सुनकर यूपीएससी की परीक्षा पास की है। बता दें कि पूर्णा सुंदरी ने  UPSC में 286वीं रैंक हासिल की है। वह देश के युवाओं के लिए एक नजीर बन गई हैं, जिनकी कामयाबी की कहानी सोशल मीडिया पर वायरल हो रही है।

2 Min read
Asianet News Hindi
Published : Aug 12 2020, 03:14 PM IST| Updated : Aug 12 2020, 03:17 PM IST
Share this Photo Gallery
  • FB
  • TW
  • Linkdin
  • Whatsapp
  • GNFollow Us
14

दरअसल, तमिलनाडु के मदुरै की रहने वाली 25 वर्षीय पूर्णा दृष्टिहीन हैं, उसने अपने इस लक्ष्य तक पहुंचने के लिए कड़ी मेहनत की है। उसे कई तरह की बाधाओं का सामना करना पड़ा है। लेकिन आज पूर्णा ने यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा 2019 में 286 वीं रैंक हासिल कर इतिहास रच दिया है। पूर्मा ने बताया कि सिविल सर्विसेज में यह उनका चौथा प्रयास था।

24

बता दें कि पूर्णा ने एक टीवी इंटरव्यू में बताया था कि वह साल 2016 से सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी कर रही थीं। मैं देख नहीं सकती थी, फिर भी मैंने हार नहीं मानी और ठान लिया की नौकरी तो आईएएस की ही करूंगी चाहे कितनी ही मेहनत क्यों ना करना पड़े। मैंने किताबों को सुनकर और ऑडियो के जरिए तैयारी। 

34

 पूर्णा के पिता एक सेल्स एग्जीक्यूटिव हैं और मां एक होम मेकर हैं, बता दें कि पूर्णा के पिता चाहते थे कि उनकी बेटी IAS अफसर बने। इसके लिए उन्होंने मुझे हर तरह से तैयार किया और मेरी तैयारी शुरू करवाई।  आज पूर्णा के घर बधाई देने वालों का तांता लग रहा है। हर कोई उनको रियल जिंदगी का हीरो बता रहा है। पूर्णा ने अपनी सफलता का श्रेय माता-पिता को दिया है। 

44


पूर्णा ने अपनी स्कूली शिक्षा पास करने के बाद कॉलेज की पढ़ाई चेन्नई से की है। उन्होंने बताया कि कॉलेज में उनके प्रोफेसरों ने उन्हें सीखने में मदद की। इतना ही नहीं सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी के लिए कॉलेज लाइब्रेरी को मेरे उपयोगी के हिसाब से तैयार किया। इसके बाद मैं चेन्नई में मणिधा नेयम संस्थान पहंची जहां खुद को स्थापित करने में मदद मिली। मेरे कई दोस्त सरकारी नौकरी में उन्होंने मेरे लिए यूपीएससी की तैयारी के हिसाब से सामान जुटाया और ऑडियो बनाए। 

About the Author

AN
Asianet News Hindi
एशियानेट न्यूज़ हिंदी डेस्क भारतीय पत्रकारिता का एक विश्वसनीय नाम है, जो समय पर, सटीक और प्रभावशाली खबरें प्रदान करता है। हमारी टीम क्षेत्रीय, राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय घटनाओं पर गहरी पकड़ के साथ हर विषय पर प्रामाणिक जानकारी देने के लिए समर्पित है।

Latest Videos
Recommended Stories
Related Stories
Asianet
Follow us on
  • Facebook
  • Twitter
  • whatsapp
  • YT video
  • insta
  • Download on Android
  • Download on IOS
  • About Website
  • Terms of Use
  • Privacy Policy
  • CSAM Policy
  • Complaint Redressal - Website
  • Compliance Report Digital
  • Investors
© Copyright 2025 Asianxt Digital Technologies Private Limited (Formerly known as Asianet News Media & Entertainment Private Limited) | All Rights Reserved