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ऐसे थे बचपन के 2 जिगरी दोस्त: साथ जिए..साथ मरे, मौत के बाद भी 12 लोगों की जिंदगी बचा गए...
सूरत (गुजरात). मौत के बाद इंसान का शरीर कोई भी काम का नहीं होता है। वह आग में जलकर राख में तब्दील हो जाता है। लेकिन मरने के बाद अगर किसी को आंग दान किए जांए तो कई लोगों को जीवनदान मिल सकता है। ऐसी ही एक जिंदादिल कहानी गुजरात के सूरत से सामने आई है। जहां दो जिगरी दोस्तों ने मौत के बाद भी 12 लोगों को जिंदगी दी। जिनको को पूरा शहर सलाम कर रहा है। आइए जानते हैं इन दो जिगरी दोस्तों के बारे में...
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दरअसल, सूरत के रहने वाले दो बचपन के दोस्त 18 वर्षीय मीत पण्ड्या और 18 वर्षीय क्रिश गांधी की 24 अगस्त की रात एक्सीडेंट में मौत हो गई थी। अस्पताल में भर्ती होने के बाद इलाज के दौरान दोनों को डॉक्टरों ने ब्रेनडेड घोषित कर दिया था। इसके बाद उनके परिवारों ने अपने जिगर के टुकड़ों के अंगों का दान करना का एक नेक फैसला लिया।
बता दें कि मृतक मीत पण्ड्या और क्रिश गांधी के माता-पिता ने बच्चों की मौत के बाद सूरत की एक डोनेट लाइफ संस्था से संपर्क किया। इसके बाद उन्होंने बेटों के सभी ऑर्गन डोनेट करने की इच्छा जताई। फिर संस्था के माध्यम से दोनों की किडनी, लिवर, हृदय, फेफड़े और आंखों सहित कई अंग दान किए।
मीत पण्ड्या और क्रिश गांधी के अंगों के दान करने से गुजरात के 12 लोगों को नया जीवन मिला है। बता दें कि ऐसा पहली बार हुआ है जब सुरत के किसी एक अस्पताल से 13 ऑर्गन एक साथ दान किया गया हो। जिससे 12 लोगों की जिंदगी बची हो। डॉक्टर से लेकर आम आदमी तक दोनों बच्चों के इस फैसले को सलाम कर रहे हैं।
सूरत के एक निजी अस्पताल में दोनों के ऑर्गन को अहमदाबाद और हैदराबाद तक पहुंचाने के लिए दो अलग-अलग ग्रीन कॉरिडोर बनाए गए। कुछ ऑर्गन 180 मिनट में 926 किमी की दूरी तय कर हैदराबाद की लैब में भेजे गए हैं। तो वहीं चारों किडनी समेत एक दोस्त का दिल और लीवर अहमदाबाद भेजा गया। कुछ अंगों को मरीजों को ट्रांसप्लांट कर दिया गया है तो कुछ को अभी करना बाकी है।
दोनों दोस्त एक ही स्कूल और एक साथ 12वीं में पढ़ते थे। अक्सर दोनों का समय एक साथ निकलता था। वह दोनों मृतकों में से एक मृतक क्रिश गांधी का 24 अगस्त को जन्म दिन था। दोनों जन्मदिन मनाने के बाद एक स्कूटी पर सवार होकर रात को घूमने के लिए निकले थे। इसी दौरान रास्ते में एक कार चालक ने उनको टक्कर मार दी। जिसमें दोनों की इलाज के दौरान मौत हो गई।