सार
दिल्ली और राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में पॉल्यूशन की समस्या लगातार बढ़ती ही जा रही है। हालात ऐसे हो गए हैं हेल्थ इमरजेंसी घोषित करनी पड़ी और स्कूल भी बंद किए गए। एयर पॉल्यूशन से सांस संबंधी परेशानी ज्यादा बढ़ती है।
हेल्थ डेस्क। दिल्ली और राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में पॉल्यूशन की समस्या लगातार बढ़ती ही जा रही है। हालात ऐसे हो गए हैं हेल्थ इमरजेंसी घोषित करनी पड़ी और स्कूल भी बंद किए गए। एयर पॉल्यूशन से सांस संबंधी परेशानी ज्यादा बढ़ती है। इसके अलावा गले में दिक्कत और आंखों में जलन की समस्या भी होती है। पर्यावरण विशेषज्ञों का कहना है कि प्रदूषण की यह समस्या अभी जल्दी खत्म होने वाली नहीं है। जब पंजाब और हरियाणा में फसलों की पराली जलाई जाने लगेगी तो यह समस्या और बढ़ेगी ही। पॉल्यूशन का असर वैसे तो हर उम्र के लोगों पर पड़ता है, लेकिन बच्चों और बूढ़ों पर इसका असर बहुत ही खराब होता है। इससे बचने के लिए कुछ घरेलू उपाय अपनाए जा सकते हैं।
1. मॉर्निंग वॉक पर न जाएं
अगर वातावरण में प्रदूषण ज्यादा हो और विजिबिलिटी बहुत कम हो तो मॉर्निंग वॉक पर जाने से बचें। बेहतर हो, घर पर ही एक्सरसाइज कर लें। बाहर जाने से सांसों की परेशानी बढ़ सकती है।
2. दमा के मरीज रखें खास ख्याल
इस प्रदूषण से सबसे ज्यादा उन लोगों को ज्यादा परेशानी का सामना करना पड़ रहा है, जो पहले से दमा जैसी बीमारी से पीड़ित हैं। उन्हें अपना खास ख्याल रखने की जरूरत हो। ऐसे लोग ज्यादातर घर में ही रहें। दिक्कत महसूस होने पर तुरंत इनहेलर का इस्तेमाल करें।
3. पानी ज्यादा पिएं
प्रदूषण से जहरीले तत्व सांसों के जरिए शरीर में पहुंचते रहते हैं। उन्हें बाहर निकालने का एक ही तरीका है कि ज्यादा से ज्यादा पानी पिएं। कम से कम 8 गिलास पानी जरूर पिएं। इससे बॉडी हाइड्रेट रहेगी और पेशाब के जरिए टॉक्सिक एलिमेंट शरीर से बाहर निकल जाएंगे।
4. अदरक-तुलसी की चाय पिएं
प्रदूषण के बुरे असर से बचने के लिए कम से कम दो बार अदरक और तुलसी की चाय पिएं। इससे भी जहरीले तत्व नष्ट होते हैं। तुलसी-अदरक की चाय सांसों की समस्या में राहत पहुंचाती है। हो सके तो सुबह खाली पेट तुलसी के कुछ पत्ते चबा कर पानी पी लें।
5. मास्क का यूज करें
जब भी बाहर निकलें, शरीर को पूरा ढक लें। प्रदूषण से कई तरह की एलर्जी भी होती है। इससे स्किन से जुड़ी समस्याएं पैदा हो सकती हैं। इसलिए पूरी बाजू के शर्ट पहनें। मास्क का यूज जरूर करें। यह कुछ असुविधाजनक तो होता है, पर इसके इस्तेमाल से सांसों में संक्रमण से बचाव होगा।