सार

अर्तिका शुक्ला एक कामयाब डॉक्टर बन सकती थी। वह एमडी की डिग्री से कुछ ही कदम दूर थी। लेकिन किस्मत को कुछ और ही मंजूर था। मेडिकल की पढ़ाई छोड़कर यूपीएससी की तैयारी शुरू की और बिना कोचिंग लिए कामयाबी का परचम लहरा दिया। 
 

लाइफस्टाइल डेस्क. मशहूर आईएएस टीना डाबी के बारे में तो आपने काफी कुछ पढ़ा और सुना होगा। साल 2015 में सिविल सर्विसेज एग्जाम में नंबर वन रही टीना डाबी कभी अपनी निजी जिंदगी तो कभी अपने काम-काज के अंदाज से हमेशा चर्चा में रहती हैं। लेकिन क्या आप टीना डाबी की दोस्त अर्तिका शुक्ला के बारे में जानते हैं? टीना की तरह ही अर्तिका ने भी पहले ही प्रयास में देश की सबसे प्रतिष्ठित परीक्षा में सफलता का कीर्तिमान गढ़ दिया था। दिलचस्प बात तो यह है कि आईएएस बनने से पहले अर्तिका डॉक्टर थीं और एमडी की पढ़ाई पूरी कर रही थीं। लेकिन फिर उन्होंने सिविल सर्विसेज ज्वॉइन करने का फैसला किया और पहली बार में ही यह चुनौती पूरी कर ली।

टीना के साथ क्रैक किया यूपीएससी 

टीना डाबी के साथ ही अर्तिका शुक्ला ने भी साल 2015 में सिविल सर्विसेज परीक्षा में सफलता दर्ज की। फर्क सिर्फ इतना था कि टीना पहले नंबर पर रहीं जबकि अर्तिका का ऑल इंडिया रैंक चौथा था। दरअसल अर्तिका को आईएएस बनने की प्रेरणा अपने भाई उत्कर्ष शुक्ला से मिली। उत्कर्ष ने साल 2012 में सिविल सर्विसेज परीक्षा में कामयाबी दर्ज की थी। उस समय अर्तिका मेडिकल की पढ़ाई कर रही थीं। भाई उत्कर्ष ने इंडियन रेलवे ट्रांसपोर्ट सर्विस ज्वॉइन की तो अर्तिका को भी आईएएस की तैयारी करने को कहा। अर्तिका ने एमडी की पढ़ाई बीच में ही छोड़कर यूपीएससी फतह करने की ठान ली। साल 2014 में अर्तिका ने देश के सबसे मुश्किल इम्तिहान की तैयारी शुरू की और अगले ही साल चौथा रैंक हासिल कर सबको हैरान कर दिया।

बिना कोचिंग के लहराया कामयाबी का परचम

अर्तिका शुक्ला की सफलता के बारे में एक बात जो सबसे ज्यादा हैरान और प्रोत्साहित करने वाली है, वह यह कि उन्होंने इतने मुश्किल इम्तिहान के लिए कभी कोई कोचिंग नहीं ली। अर्तिका ने अपने भाई उत्कर्ष के नोट्स की मदद ली और वह कर दिखाया जिसकी किसी ने कल्पना भी नहीं की होगी। दरअसल उत्कर्ष ने ही अर्तिका को बताया कि आईएएस परीक्षा की तैयारी कैसे करनी है। अर्तिका ने अपने भाई को गुरु बनाया और उन्हीं के टिप्स पर अमल करके कामयाबी की मंजिल हासिल कर ली। 

डॉक्टर से रोल मॉडल तक का सफर

मूल रूप से वाराणसी की रहने वाली अर्तिका शुक्ला की शुरुआती पढ़ाई-लिखाई वाराणसी के ही सेंट जोंस स्कूल में हुई। अर्तिका के पिता ब्रजेश शुक्ला भी पेशे से डॉक्टर हैं और आईएमए में सचिव के पद पर तैनात रहे। अर्तिका ने दिल्ली के मौलाना आजाद मेडिकल कॉलेज से एमबीबीएस की पढ़ाई पूरी की थी। फिर एमडी की पढ़ाई शुरू की लेकिन कोर्स बीच में ही छोड़कर यूपीएससी के मैदान में कूद पड़ीं। उसके बाद की कहानी दुनिया के सामने है। अर्तिका की कामयाबी यूपीएससी की तैयारी करने वाले छात्रों और खासकर छात्राओं के लिए बेहतर मिसाल है।

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