सार

 भोपाल के बागसेवनिया थाने इलाके में रेलवे पटरी के पास एक महिला खुदकुशी करने के लिए पहुंच हुई थी। तभी सामने से एक ट्रेन आ रही थी। इसी बीच महिला की 12 साल की बेटी भी पीछे-पीछे आ गई। जैसे ही ट्रेन आई तो महिला उसके सामने खड़ी हो गई। इतने में पीछे आई बेटी ने मां का हाथ पकड़कर पीछे की तरफ खीच लिया। 

भोपाल (मध्य प्रदेश). अक्सर हम सुनते और देखते हैं कि मां अपने बच्चों की खुशियों के लिए जान दांव पर भी लगाने में नहीं हिचकिचाती है। लेकिन मध्य प्रदेश की राजधानी एक ऐसा मामला सामने आया है, जहां एक 12 साल की बहादुर बेटी अपनी मां को मौत के मुंह से बचा लाई। जिसकी तारीफ पुलिस कांस्टेबल से लेकर अधिकारी तक कर रहे हैं।

चलती ट्रेन के सामने खड़ी हो गई थी महिला...
दरअसल, रविवार को भोपाल के बागसेवनिया थाने इलाके में रेलवे पटरी के पास एक महिला खुदकुशी करने के लिए पहुंच हुई थी। तभी सामने से एक ट्रेन आ रही थी। इसी बीच महिला की 12 साल की बेटी भी पीछे-पीछे आ गई। जैसे ही ट्रेन आई तो महिला उसके सामने खड़ी हो गई। इतने में पीछे आई बेटी ने मां का हाथ पकड़कर पीछे की तरफ खीच लिया। लेकिन झटके से गिरने से मां-बेटी घायल हो गईं।

मां को गोद में लिटाकर रोने लगी मासूम बेटी
जब महिला को बेटी ने मौत के मुंह से बचा लिया तो मासूम  अपनी बेहोश मां को गोद में लिटाकर रो पड़ी। यह सीन देखकर पुलिस वालों की आंखों में भी आंसू आ गए। हालांकि अभी तक घटना के पीछे की वजह का पता नहीं चल सका है। होश आने के बााद बयान से पता चलेगा कि आखिर युवती खुदखुशी क्यों करना चाहती थी।

महिला की हालत फिलहाल गंभीर
घटना की जानाकरी मिलते ही  बागसेवनिया थाने के ASI सूर्यनाथ यादव  हवलदार दीपक, सिपाही बृजकिशोर और सिपाही लालबाबू के साथ मौके पर पहुंचे। इसके बाद महिला को बेहोशी हालत में शहर की जेपी अस्पताल में भर्ती कराया गया। महिला की हालत फिलहाल गंभीर बनी हुई है।