सार

कोरोना की वजह से लॉकडाउन के बीच केदारनाथ मंदिर के कपाट को बुधवार को खोला जाएगा। कपाट को परंपरागत तरीके और फूलों से सजाया गया है। मुख्य द्वार खुलने पर मंदिर के पुजारी सहित 16 लोग मौजूद रहते हैं।

नई दिल्ली. कोरोना की वजह से लॉकडाउन के बीच केदारनाथ मंदिर के कपाट को बुधवार को खोला जाएगा। कपाट को परंपरागत तरीके और फूलों से सजाया गया है। मुख्य द्वार खुलने पर मंदिर के पुजारी सहित 16 लोग मौजूद रहते हैं। लॉकडाउन की वजह से भक्तों के लिए दर्शन की अनुमति नहीं होगी। केदारनाथ धाम रुद्रप्रयाग जिले में स्थित है। यह भगवान शंकर का धाम है।

सुबह 6.10 बजे खुलेगा मंदिर का कपाट

बाबा केदार की डोली सोमवार शाम को धाम पहुंच गई है। अब बुधवार को सुबह 6 बजकर 10 मिनट पर केदारनाथ मंदिर के कपाट मेष लग्न में खोले जाएंगे।

 

केदारनाथ मन्दिर भारत के उत्तराखण्ड राज्य के रूद्रप्रयाग जिले में स्थित है। उत्तराखण्ड में हिमालय पर्वत की गोद में केदारनाथ मन्दिर बारह ज्योतिर्लिंग में सम्मिलित होने के साथ चार धाम और पंच केदार में से भी एक है। 

 

यहां की प्रतिकूल जलवायु के कारण यह मन्दिर अप्रैल से नवंबर महीने के बीच ही दर्शन के लिए खुलता है। 

 

पत्‍थरों से बने कत्यूरी शैली से बने इस मन्दिर के बारे में कहा जाता है कि इसका निर्माण पाण्डव वंश के जनमेजय ने कराया था। यहां स्थित स्वयम्भू शिवलिंग बहुत  प्राचीन है। 

जून 2013 में आई थी भयानक बाढ़

जून 2013 में  उत्तराखण्ड और हिमाचल प्रदेश में अचानक आई बाढ़ और भूस्खलन के कारण केदारनाथ सबसे अधिक प्रभावित क्षेत्र रहा। मंदिर की दीवारें गिर गई और बाढ़ में बह गईं। बाढ़ में भी इस ऐतिहासिक मन्दिर का मुख्य हिस्सा और सदियों पुराना गुंबद सुरक्षित रहे, लेकिन मन्दिर का प्रवेश द्वार और उसके आस-पास का इलाका पूरी तरह तबाह हो गया।