सार
पीएम नरेंद्र मोदी ने राज्यसभा में भाषण के दौरान कांग्रेस नेता राहुल गांधी का नाम लिए बिना कहा कि जो लोग आज संविधान की प्रति लेकर कूदते रहते हैं उन्होंने संविधान दिवस मनाने का विरोध किया था। इतना सुनकर विपक्ष के सांसद हंगामा करने लगे।
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi Speech in Rajya Sabha) ने बुधवार को राज्यसभा में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर लाए गए धन्यवाद प्रस्ताव पर भाषण दिया। पीएम ने भाषण की शुरुआत की तो विपक्ष के सांसद बिना शोर किए चुपचाप सुन रहे थे। ऐसा कुछ समय तक चला, लेकिन जैसे ही नरेंद्र मोदी ने संविधान को लेकर विपक्ष खासकर कांग्रेस नेता राहुल गांधी को चुभन वाली बात बोली विपक्षी सांसदों का 'खून खौल उठा' वे शोर करने लगे। दरअसल, राहुल गांधी इन दिनों हाथ में संविधान लिए दिखते हैं। उन्होंने कई मौकों पर सदन में संविधान लहराया है।
नरेंद्र मोदी ने कहा, "चुनाव में देशवासियों के विवेक-बुद्धि पर गर्व होता है। क्योंकि उन्होंने प्रोपेगेंडा को परास्त कर दिया है। देश की जनता ने परफॉर्मेंस को प्राथमिकता दी है। भ्रम की राजनीति को जनता ने ठुकराया है और भरोसे की राजनीति पर विजय की मुहर लगाई है।"
उन्होंने कहा, "संविधान के 75वें वर्ष में हम प्रवेश कर रहे हैं। इस सदन के लिए भी यह पड़ाव विशेष है क्योंकि इसके भी 75 साल हुए हैं। इसलिए एक सुखद संयोग है। मेरे जैसे बहुत लोग हैं इस देश के सार्वजनिक जीवन में, जिनके परिवार में कोई गांव का सरपंच भी नहीं रहा है। गांव का प्रधान भी नहीं रहा है। राजनीति से कोई सरोकार नहीं रहा है, लेकिन आज अनेक महत्वपूर्ण पदों पर पहुंचकर देश की सेवा कर रहे हैं। उसका कारण बाबा साहेब अंबेडकर ने जो संविधान दिया है, उसने हम जैसे लोगों को यहां तक आने का अवसर दिया है।"
जो आज संविधान लेकर कूदते रहते हैं उन्होंने संविधान दिवस का विरोध किया
पीएम मोदी ने कहा, "संविधान हमारे लिए कोई आर्टिकल का कंपाइलेशन मात्र नहीं है। हमारे लिए उसका उसका स्पिरिट भी और उसका शब्द भी बहुत मूल्यवान हैं। हमारा मानना है कि किसी भी सरकार के नीति निर्धारण में कार्यकलाप में हमारा संविधान लाइट हाउस का काम करता है।"
पीएम ने कहा, "मुझे याद है। जब लोकसभा में हमारी सरकार की तरफ से कहा गया कि हम 26 नवंबर को संविधान दिवस के रूप में मनाएंगे। मैं हैरान हूं जो आज संविधान की प्रति लेकर कूदते रहते हैं, दुनिया में लहराते रहते हैं, उनलोगों ने विरोध किया था कि 26 जनवरी तो है संविधान दिवस क्यों लाए।" पीएम के इतना कहने पर सत्ता पक्ष के सांसद शेम..शेम.. कहने लगे। विपक्ष को यह नागवार गुजरा और वे हंगामा करने लगे।