सार
18 अगस्त को पाकिस्तान के मंत्री अली हैदर जैदी ने पुलिस लाठीचार्ज का एक वीडियो ट्वीट किया, जिसमें दावा किया गया कि यह कश्मीर में महिलाओं पर अत्याचार का वीडियो है। लेकिन जब वीडियो की पड़ताल की गई तो पाकिस्तान का झूठ पकड़ा गया।
नई दिल्ली. जम्मू-कश्मीर से धारा 370 हटाने के बाद पाकिस्तान बौखलाया हुआ है। अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भारत की छवि खराब करने के लिए पाकिस्तान हर संभव कोशिश कर रहा है। ताजा मामला 18 अगस्त का है। जब पाक के समुद्री मामलों के मंत्री अली हैदर जैदी ने पुलिस लाठीचार्ज का एक वीडियो ट्वीट किया, जिसमें दावा किया कि यह कश्मीर में महिलाओं पर अत्याचार को दर्शाता है। हालांकि जब वीडियो की पड़ताल की गई तो पाकिस्तान का झूठ पकड़ा गया।
पाकिस्तान के मंत्री ने क्या लिखा ?
पाकिस्तान के मंत्री अली हैदर जैदी ने लाठीचार्ज का वीडियो शेयर करते हुए लिखा, "दुनिया को यह देखना चाहिए कि कश्मीर में मोदी सरकार क्या रही है। जब सारी दुनिया सो रही है तो उत्तर का हिटलर पैदा हो गया है। डोनॉल्ड ट्रंप को तुरंत भारत पर व्यापारिक प्रतिबंध लगा देने चाहिए, इससे पहले कि इसे रोकना मुश्किल हो जाए।" मंत्री के ट्वीट पर 6,300 से ज्यादा लाइक और 5,000 से अधिक बार रीट्वीट किया गया।
क्या है वीडियो का सच ?
- अली हैदर जैदी द्वारा पोस्ट किया गया वायरल वीडियो 1 मिनट और 53 सेकंड का है। इसमें 1 मिनट 14 सेकंड पर दिख रहा है कि पुलिस लाठीचार्ज कर रही है और एक बच्चे के साथ एक घायल महिला दूसरी बुजुर्ग महिला के साथ लेटी है। वीडियो में एक महिला की आवाज सुनाई दे रही है, जो ज्यादा से ज्यादा वीडियो को साझा करने की अपील कर रही है ताकि वह नरेंद्र मोदी तक पहुंचे और अपराधी पकड़ लिए जाएं।
- बेंगलुरु के एक सीआरपीएफ अधिकारी कश्यप कडगट्टूर ने पाकिस्तान के मंत्री के ट्वीट का जवाब देते हुए कहा कि यह कश्मीर का नहीं है। उन्होंने दावा किया कि वीडियो हरियाणा में डेरा सच्चा सौदा के अनुयायियों के खिलाफ पुलिस की कार्रवाई का है।
- मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक हरियाणा में पंचकुला में 25 अगस्त 2017 को हिंसा हुई थी, जब डेरा प्रमुख बाबा राम रहीम के अनुयायियों ने अदालत द्वारा बलात्कार का दोषी ठहराए जाने के बाद शहर में हिंसा की थी। वायरल वीडियो की शुरुआत के 3 सेकंड में एक लाल रंग की कार देखी जा सकती है। कार की नंबर प्लेट सीएच से शुरू होती है। इससे साबित होता है कि कार चंडीगढ़ की है।
निष्कर्ष
पड़ताल करने पर पता चला कि वीडियो 2 साल पुराना है। यह कश्मीर नहीं बल्कि हरियाणा का है, जो 2017 से सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। इसका कश्मीर से कोई लेना-देना नहीं है।