Monsoon Session: आज से संसद का मॉनसून सत्र शुरू हो रहा है और इस बार हंगामे के पूरे आसार हैं। विपक्ष कई अहम मुद्दों को लेकर सरकार को घेरने की तैयारी में है। 

Monsoon Session: आज से संसद का मॉनसून सत्र शुरू हो रहा है और इसके हंगामेदार रहने के पूरे आसार हैं। यह सत्र 21 अगस्त तक चलेगा जिसमें विपक्ष कई अहम मुद्दों पर सरकार से जवाब मांगेगा। ‘इंडिया गठबंधन’ ने साफ किया है कि वह सरकार से पहलगाम आतंकी हमले, जम्मू-कश्मीर को फिर से पूर्ण राज्य का दर्जा देने, मणिपुर में हिंसा, बिहार में मतदाता सूची की जांच और विदेश नीति जैसे मुद्दों पर सवाल पूछ सकता है।

संसद में पेश किए जाएंगे 8 नए बिल

गठबंधन की मांग है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी खुद इन मामलों पर संसद में जवाब दें, खासकर अमेरिका के राष्ट्रपति के उस बयान पर जिसमें उन्होंने पाकिस्तान के साथ संघर्ष विराम की बात कही है। सरकार ने भी विपक्ष के इन सवालों से निपटने के लिए पूरी तैयारी कर ली है। इस बार संसद में 8 नए बिल पेश किए जाएंगे। सरकार चाहती है कि सत्र में कामकाज ठीक से चले और ज़रूरी कानूनों पर चर्चा हो।

21 अगस्त तक चलेगा मानसून सत्र

संसद का मानसून सत्र 21 जुलाई से शुरू होकर 21 अगस्त तक चलेगा। सभी दलों के सहयोग के लिए रविवार को संसद भवन एनेक्सी में एक सर्वदलीय बैठक आयोजित की गई। इस बैठक की अध्यक्षता राज्यसभा में सदन के नेता जेपी नड्डा ने की। बैठक में भाजपा और एनडीए के घटक दलों के साथ ही कांग्रेस और अन्य विपक्षी पार्टियों के वरिष्ठ नेता मौजूद रहे।

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जेपी नड्डा की अध्यक्षता में डेढ़ घंटे चली बैठक

करीब डेढ़ घंटे चली इस बैठक में अलग-अलग दलों ने संसद सत्र के दौरान उठाए जाने वाले अहम मुद्दों पर चर्चा की। कांग्रेस की ओर से लोकसभा में उपनेता गौरव गोगोई ने कहा कि पार्टी को इस बार उम्मीद है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सदन में मौजूद रहेंगे और अहम मामलों पर खुद जवाब देंगे। हालांकि, संसदीय नियमों के मुताबिक आम तौर पर बहस का जवाब संबंधित मंत्री ही देते हैं।

सरकार की ओर से संसदीय कार्यमंत्री किरेन रिजीजू ने कहा कि सभी दलों ने कई अहम विषयों पर चर्चा की मांग की है, और सरकार हर मुद्दे पर बातचीत के लिए तैयार है। उन्होंने कहा, “हम नियमों और संसदीय परंपराओं का सम्मान करते हैं। इसलिए हर विषय पर चर्चा उन्हीं के तहत होगी।” इस बार का मॉनसून सत्र कई अहम मुद्दों और तीखी बहसों के चलते काफी गर्म रहने की उम्मीद है।