सार
PM Modi ने अपने बचपन की गरीबी को संघर्ष नहीं माना, साझा की बचपन की खास यादें। Lex Fridman ने मोदी इंटरव्यू से पहले 45 घंटे का उपवास रखा, जानें पीएम मोदी के उपवास पर विचार।
PM Modi podcast Lex Fridman:अमेरिकन पॉडकास्टर लेक्स फ्रिडमैन ने पीएम नरेंद्र मोदी का तीन घंटे लंबा इंटरव्यू लिया है। रविवार शाम को फ्रिडमैन ने पॉडकास्ट को रिलीज किया है। प्रधानमंत्री मोदी ने पॉडकास्ट में अपने गांव, अपने बचपन की ढेर सारी बातें साझा की है। आईए जानते हैं पीएम मोदी संग बातचीत का प्रमुख अंश...
बचपन की सादगी और गरीबी को कभी बोझ नहीं माना: पीएम मोदी
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Modi) ने अपने बचपन की यादों को साझा करते हुए बताया कि उन्होंने गरीबी (Poverty) को कभी कठिनाई नहीं माना। उन्होंने कहा कि मुश्किल हालातों के बावजूद उन्होंने कभी अभाव महसूस नहीं किया। एक घटना याद करते हुए पीएम मोदी ने बताया कि उनके मामा ने उन्हें एक बार सफेद कैनवास के जूते (White Canvas Shoes) गिफ्ट किए थे जिन्हें वह स्कूल में फेंकी गई चॉक से चमकाते थे। उन्होंने बताया कि मुझे कपड़े वगैरह भी ढंग से पहनने की आदत है, अब कैसे है पता नहीं लेकिन बचपन से थी। जो भी हो उसे ठीक से पहनूं।हमारे पास प्रेस कराने के लिए कोई व्यवस्था नहीं थी। मैं तांबे के लोटे में गर्म पानी करके उसे चिमटे से पकड़कर कपड़ों में प्रेस कर लेता था। फिर स्कूल चला जाता था। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि जीवन के हर पड़ाव को उन्होंने कृतज्ञता के साथ स्वीकार किया और कभी भी गरीबी को संघर्ष नहीं माना। उन्होंने युवाओं को संदेश दिया कि वह हिम्मत न हारें, कोई भी परिस्थिति हो हमें अपना आपा नहीं खोना चाहिए।
लेक्स फ्रिडमैन ने मोदी इंटरव्यू के लिए 45 घंटे का उपवास रखा
प्रसिद्ध पॉडकास्टर लेक्स फ्रिडमैन (Lex Fridman) ने खुलासा किया कि उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का इंटरव्यू (Modi Interview) करने से पहले 45 घंटे का उपवास (Fasting) रखा। इस दौरान उन्होंने केवल पानी का सेवन किया। इस पर प्रतिक्रिया देते हुए पीएम मोदी ने उपवास के फायदों (Benefits of Fasting) को लेकर अपने विचार साझा किए।
पीएम मोदी ने कहा कि उपवास सिर्फ भोजन छोड़ना नहीं है बल्कि यह एक वैज्ञानिक प्रक्रिया (Scientific Process) है, जो इंद्रियों को तेज करता है, मानसिक स्पष्टता (Mental Clarity) बढ़ाता है और अनुशासन को मजबूत करता है। उन्होंने बताया कि उपवास करने से पहले वह हाइड्रेशन (Hydration) पर विशेष ध्यान देते हैं, ताकि शरीर को डिटॉक्स करने में मदद मिले। साथ ही उन्होंने कहा कि उपवास के दौरान वह सुस्ती महसूस नहीं करते, बल्कि अधिक ऊर्जावान महसूस करते हैं और पहले से ज्यादा मेहनत कर पाते हैं।