सार

जम्मू-कश्मीर के राजौरी जिले में हुए आतंकी हमलों में पांच लोगों की मौत हुई है और 11 घायल हुए हैं। एलजी मनोज सिन्हा ने घोषणा किया है कि मृतकों के परिजनों को 10 लाख रुपए की मदद मिलेगी। परिवार के एक सदस्य को नौकरी दी जाएगी।
 

जम्मू। जम्मू-कश्मीर के राजौरी जिले में रविवार और सोमवार को हुए आतंकी हमले में पांच लोगों की मौत हुई है और 11 घायल हुए हैं। आतंकियों ने जिले के डांगरी गांव में कश्मीरी पंडितों की टारगेट किलिंग की। रविवार शाम करीब 7:30 बजे दो आतंकियों ने हिंदुओं के घर में घुसकर अंधाधुंध फायरिंग की थी, जिससे चार लोगों की मौत हो गई और छह घायल हो गए। 

सोमवार को रविवार को हुए आतंकी हमले के खिलाफ लोग विरोध प्रदर्शन कर रहे थे तभी सभास्थल के पास ID ब्लास्ट हुआ, जिससे एक बच्चे की मौत हो गई और पांच लोग घायल हो गए। जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने सोमवार को कहा कि डांगरी गांव में हुए आतंकवादी हमले के दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा। मृतकों के परिजनों को 10 लाख रुपए की सहायता राशि दी जाएगी। इसके साथ ही परिवार के एक व्यक्ति को सरकारी नौकरी मिलेगी।

 

 

मनोज सिन्हा ने ट्वीट कर बताया कि गंभीर रूप से घायलों को एक लाख रुपए की मदद दी जाएगी। उन्होंने अधिकारियों को घायलों का बेहतर इलाज सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं। मनोज सिन्हा ने ट्वीट किया, "मैं राजौरी में हुए कायरतापूर्ण आतंकी हमले की कड़ी निंदा करता हूं। मैं लोगों को विश्वास दिलाता हूं कि इस घृणित हमले के पीछे जो लोग हैं उन्हें बख्शा नहीं जाएगा।"

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सुरक्षाबल के जवान चला रहे सर्च ऑपरेशन
टारगेट किलिंग और आईईडी ब्लास्ट में शामिल आतंकवादियों को पकड़ने के लिए सुरक्षा बलों ने राजौरी जिले में घेराबंदी और तलाशी अभियान तेज कर दिया है। एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि घेराबंदी और तलाशी अभियान तेज कर दिया गया है। अभियान में अतिरिक्त जवानों को लगाया गया है। राजौरी में हमले के मद्देनजर सुरक्षा बढ़ा दी गई है। राजौरी हत्याओं के विरोध में बंद है। सेना, पुलिस, विशेष अभियान समूह और केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) के जवान तलाशी अभियान में शामिल हैं। ड्रोन और खोजी कुत्ते भी तैनात किए गए हैं।

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