सार
दिल्ली में रविवार को नागरिकता संशोधन अधिनियम के खिलाफ प्रदर्शनों के दौरान हुई हिंसा को लेकर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और आम आदमी पार्टी (आप) के बीच आरोप-प्रत्यारोप का दौर शुरू हो गया
नई दिल्ली: दिल्ली में रविवार को नागरिकता संशोधन अधिनियम के खिलाफ प्रदर्शनों के दौरान हुई हिंसा को लेकर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और आम आदमी पार्टी (आप) के बीच आरोप-प्रत्यारोप का दौर शुरू हो गया है, जिसमें दोनों दलों ने एक-दूसरे पर हिंसा को लेकर आरोप लगाया है।
भाजपा ने हिंसा के लिए आप को जिम्मेदार ठहराया और मांग की कि वह ''लोगों को उकसाना'' बंद करे हालांकि, आप ने इससे इनकार किया।
इस बीच, दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने रविवार को आरोप लगाया कि भाजपा ने नागरिकता संशोधन अधिनियम के खिलाफ दक्षिणी दिल्ली में एक प्रदर्शन के दौरान बसों को आग लगाने के लिए पुलिस का इस्तेमाल किया। सिसोदिया ने विरोध स्थल की कुछ तस्वीरें भी ट्विटर पर पोस्ट कीं। उप-मुख्यमंत्री ने एक ट्वीट में भाजपा पर ''गंदी राजनीति'' करने का आरोप लगाते हुए कहा कि नागरिकता संशोधन अधिनियम के विरोध के दौरान भड़की हिंसा की निष्पक्ष जांच होनी चाहिए।
दिल्ली भाजपा प्रमुख मनोज तिवारी ने एक ट्वीट में कहा कि आप के एक विधायक जनता को ''उकसा'' रहे थे। उन्होंने दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को ''गद्दार'' करार दिया। उन्होंने कहा, ''अरविंद केजरीवाल के इशारे पर आप का विधायक जनता को भड़का रहा है। भारत का मुसलमान भारत के साथ है, तुम जैसे गद्दारों की बातों में आने वाला नहीं। लोगों को उकसाना बंद करो। दिल्ली की जनता गद्दारों को सबक सिखाएगी। आप का पाप सामने आ रहा है।''
यद्यपि ओखला विधायक अमानतुल्ला खान जिनकी तरफ तिवारी का इशारा था, उन्होंने आरोपों से इनकार किया। उन्होंने संवाददाताओं से कहा,''कुछ टेलीविजन चैनलों ने समाचार चलाये हैं कि मेरे नेतृत्व में प्रदर्शनकारियों ने बसों को आग लगायी जो कि गलत है। मैंने शाहीन बाग के पास प्रदर्शन किया जहां कुछ भी नहीं हुआ।''
भाजपा नेता कपिल मिश्रा ने हिंसा की तुलना गोधरा हमलों से की और आप सरकार पर इसके पीछे होने का आरोप लगाया। उन्होंने यह भी कहा कि हिंसा किसी आतंकवादी हमले से कम नहीं है।'' उन्होंने कहा, ''यह एक आतंकवादी हमला है। किसी बस को आग लगाना जिसमें एक सीएनजी सिलेंडर है, का मतलब है कि किसी बड़े विस्फोट की साजिश थी। आप इसे एक आतंकवादी हमला नहीं कहेंगे तो क्या कहेंगे? यह अमानतुल्ला खान द्वारा शुरू किया गया था। वे दिल्ली में गोधरा घटना को दोहराना चाहते हैं।''
केजरीवाल ने कहा कि किसी भी तरह की हिंसा अस्वीकार्य है और प्रदर्शन शांतिपूर्ण रहने चाहिए। उन्होंने ट्वीट किया, ''किसी को भी हिंसा में लिप्त नहीं होना चाहिए। किसी भी तरह की हिंसा अस्वीकार्य है। प्रदर्शन शांतिपूर्ण रहने चाहिए।''
बता दें कि प्रदर्शन नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ हो रहा था जिसमें तीन पड़ोसी देशों से आये गैर मुस्लिमों को नागरिकता प्रदान करने का प्रावधान है, जो धार्मिक प्रताड़ना की वजह से भारत आये हैं।
(यह खबर समाचार एजेंसी भाषा की है, एशियानेट हिंदी टीम ने सिर्फ हेडलाइन में बदलाव किया है।)
(फाइल फोटो)