सार
भाजपा के दो निलंबित पदाधिकारियों द्वारा पैगंबर मोहम्मद पर विवादास्पद टिप्पणी के खिलाफ शुक्रवार को देश के कई हिस्सों में हिंसक विरोध प्रदर्शन शुरू हो गए। देश में सांप्रदायिक तनाव लगातार बढ़ रहा है।
Prophet controversy गैर जिम्मेदार बयानों से देश के विभिन्न हिस्सों में लगातार सांप्रदायिक बवाल बढ़ रहे हैं। बीजेपी की निलंबित प्रवक्ता नुपुर शर्मा का पैगंबर मुहम्मद पर बयान से देश ही नहीं विदेशों में भी विरोध प्रदर्शनों का दौर जारी है। इन तनावों के बीच विश्व हिंदू परिषद ने मांग कर दी है कि हिंसा को देखते हुए मुस्लिम बहुल इलाकों में सीसीटीवी लगाकर निगरानी की जाए। विहिप ने शनिवार को मांग की कि शुक्रवार की हिंसा के मद्देनजर वहां की गतिविधियों पर नजर रखने के लिए देश भर के मुस्लिम बहुल इलाकों के साथ-साथ हर मस्जिद और मदरसे के अंदर और बाहर हाई रिजोल्यूशन कैमरे लगाए जाएं।
देश संविधान से चलता है न कि शरीयत से
विश्व हिंदू परिषद (विहिप) के कार्यकारी अध्यक्ष आलोक कुमार ने कहा कि देश के शांतिपूर्ण और सौहार्दपूर्ण माहौल को दूषित करने की कोशिश करने वालों को यह समझना होगा कि भारत संविधान से चलता है न कि शरीयत से। मुस्लिम समुदाय से पैगंबर मोहम्मद के खिलाफ विवादित टिप्पणी से संबंधित मामले में कानूनी प्रक्रिया का इंतजार करने को कहते हुए आरएसएस से जुड़े संगठन के नेता ने कहा कि हिंसा करने वाले कट्टरपंथियों की कठपुतली हैं, उनसे सख्ती से निपटा जाना चाहिए।
आलोक कुमार ने कहा कि हिंसा करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जानी चाहिए। संपत्ति के नुकसान का मुआवजा वसूला जाना चाहिए। दंगों, हिंसा, हमलों और आगजनी में शामिल भीड़ शुक्रवार की नमाज के बाद मस्जिदों से निकली थी। देश का जिहादी मुस्लिम नेतृत्व आम मुसलमानों को हिंसा के रास्ते पर ले जा रहा है, जो न तो उनके हित में है और न ही देश के हित में है। संगठन की ओर से उन्होंने मांग किया कि हाई रिज़ॉल्यूशन वाले वीडियो कैमरे देश भर के सभी मदरसों के अंदर और बाहर भी लगाए जाने चाहिए। उन्होंने आरोप लगाया कि मदरसे तेजी से जिहादी तत्वों के कारखाने बन रहे हैं।
कुमार ने कहा कि शुक्रवार को देश के विभिन्न हिस्सों में हुई हिंसा की घटनाओं के संबंध में प्रशासन कार्रवाई कर रहा है लेकिन दंगाइयों से और अधिक गंभीरता से निपटा जाना होगा। उन्होंने कहा कि दंगाइयों द्वारा न केवल संपत्ति के नुकसान की भरपाई की जानी चाहिए बल्कि इसके लिए प्रक्रिया को भी सरल और त्वरित बनाया जाना चाहिए।
विहिप के कार्यकारी अध्यक्ष ने कहा कि जिन धार्मिक स्थलों से कथित हिंसक भीड़ निकली और दंगा करने में शामिल हुई, उन्हें भी अपनी जिम्मेदारी निभानी चाहिए। उन्होंने कहा कि पैगंबर मोहम्मद के खिलाफ विवादित टिप्पणी को लेकर देश में हिंसा और नफरत का माहौल बनाने की कोशिश की जा रही है जबकि पुलिस ने मामले में प्राथमिकी दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी है। उन्होंने कहा कि हिंसा का रास्ता छोड़कर, मुस्लिम समुदाय को कानूनी प्रक्रिया का पालन करना चाहिए और मामले में अदालत के फैसले की प्रतीक्षा करनी चाहिए।
कैमरों से हो निगरानी
संगठन के राष्ट्रीय प्रवक्ता विनोद बंसल ने कहा कि विहिप की यह भी मांग है कि इन जगहों पर गतिविधियों की निगरानी के लिए हर मस्जिद और मदरसे के साथ-साथ मुस्लिम बहुल इलाकों में उच्च-रिज़ॉल्यूशन वाले वीडियो कैमरे लगाए जाएं। उन्होंने कहा कि इन कैमरों की कमान और संचालन स्थानीय पुलिस थाने के पास होना चाहिए और अगर कोई अप्रिय घटना होती है तो इन थानों के प्रभारी अधिकारी जिम्मेदार होंगे।
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